यूपी – UP: गौतम कुटीर के मंथन से मिशन 2027 में अमृत की आस…उलझे जातिगत समीकरणों पर सीएम योगी और मोहन भागवत की चर्चा – INA

यह मुलाकात अनायास नहीं थी। पूरी कार्ययोजना एवं विजन के साथ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आरएसएस प्रमुख डा. मोहन भागवत से मुलाकात की। दो घंटे तक गौतम कुटीर में गहन चर्चा चली। 

पिछले चुनाव से लेकर आगामी रणनीति पर बात हुई और केंद्र बिंदू में मिशन 2027 ही रहा। यह बैठक कितनी सफल रही इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि लौटते समय योगी ने अपनी गाड़ी में बैठकर सभी का अभिवादन किया और मुस्कान के साथ शिविर से बाहर निकले।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को मथुरा में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से मुलाकात की। मथुरा के परखम में संघ की दस दिवसीय बैठक चल रही है। जिसमें संघ प्रमुख भाग ले रहे हैं। 

ब्रज में संघ प्रमुख और सीएम योगी की मुलाकात अहम मानी जा रही है। पहले यहां सप्त कुटीर में पांच प्रमुख पदाधिकारियों ने सीएम योगी का स्वागत किया और इसके बाद वो सीधे यहां बनी गौतम कुटरी में ठहरे मोहन भागवत से मिलने पहुंच गए।


करीब दो घंटे तक चली इस बैठक में भविष्य की योजनाओं पर बात की गई। बताया जा रहा है कि वैसे तो बैठक में कई अहम मुद्दों पर बात हुई पर फोकस में विधानसभा चुनाव 2027 ही रहा।


लोकसभा चुनाव के निकले परिणाम पर विस्तार से रोशनी डाली गई। लोकसभा चुनाव का परिणाम आया तो यूपी में भाजपा की स्थिति पर बहस छिड़ी। कहा यह भी गया कि आरएसएस को कमतर आंकने का खामियाजा यूपी में भाजपा को भुगतना पड़ा। चूंकि अपने थिंक टैंक के जरिए आरएसएस पार्टी के लिए नई राहों को प्रशस्त करती रही है लेकिन लोकसभा चुनाव में राहें कांटों भरी रहीं। 


परिणाम आने के बाद अब फिर से नए विजन पर काम शुरू हुआ है। योगी की संघ से नजदीकियां जगजाहिर हैं। ऐसे में आने वाले विधानसभा चुनाव के लिए फिर से पुरानी रौ में लौटना सभी के लिए जरूरी है। 

बताया जा रहा है कि इस बैठक का उद्देश्य भी यही रहा। बैठक में इस पर भी विस्तार से बात हुई कि मथुरा को अब फोकस में रखा जाएगा। अयोध्या में मंदिर निर्माण हो चुका है। ऐसे में मथुरा पर सभी की नजर है। 


उलझे जातिगत समीकरणों पर मंथन
इस बैठक में कानून व्यवस्था पर भी बात हुई। चूंकि संघ यूपी की कानून व्यवस्था को लेकर किए जा रहे कार्यों को भाजपा शासित अन्य प्रदेशों में भी देखना चाहता है। ऐसे में बात हुई कि इस पर और गंभीरता से काम करना होगा। यही कारण रहा कि इससे पूर्व हुई बैठक में सीएम ने कानून व्यवस्था पर खास फोकस किया था।

इसके अलावा लोकसभा चुनाव में उलझे जाति-बिरादरी के गुणा-भाग पर मंथन हुआ है। दरअसल, लोकसभा चुनाव में ठाकुरों व अन्य कई जातियों ने नाराजगी जाहिर की थी जिसका असर चुनाव पर आया था। इस बैठक के बाद इस मुद्दे पर भी नए सिरे से काम की रूपरेखा तय हुई है।


Credit By Amar Ujala

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