सेहत – क्या पूरी नवरात्रि सिर्फ दूध पीकर आ सकती है? शरीर पर क्या होगा असर, डॉक्टर से जान सहयोग सच्चाई

नवरात्रि में केवल दूध: नवरात्रि चल रही है और इन दिनों नियम निष्ठा का विशेष व्रत रखा जाता है। आदर्श और रेस्तरां में शुद्ध शाकाहारी या फलाहारी भोजन की विशेष व्यवस्था की जा रही है। हालांकि ज्यादातर लोग घर पर नियम निष्ठा से रहते हैं और होटल-रेस्टोरेंट में खाना नहीं खाते हैं। घर पर फलाहार या पूरी तरह से फास्ट रहते हैं। आजकल कुछ लोग शुद्ध व्रत या उपवास में दूध को भी शामिल कर लेते हैं। उनका मानना ​​है कि दूध बेहद शुद्ध है और इसे पीने से कोई नुकसान नहीं होता। साथ ही दूध में भी बहुत नमक है इसलिए शरीर पर कोई नुकसान भी नहीं होगा। ऐसे में सवाल है कि क्या कोई 9 दिन तक सिर्फ दूध पर रह सकता है। अगर रहेगा तो इसका असर उसके शरीर, पेट आदि पर पड़ेगा। अमेरिकी प्लेसमेंट मेडिसिन डॉ.प्रियंका रोहतगी ने बताया कि यह पूरी तरह से अवैध मेडिसिन है। इसके पीछे कई कारण हैं. अगर कोई सिर्फ दूध पीकर 9 दिन तक रहे तो इससे शरीर को काफी नुकसान होगा।

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पेट दूध इतना को पचा नहीं पाता
डॉ. प्रियंक रोहतगी उन्होंने बताया कि इसमें कोई शक नहीं है कि दूध में संपूर्ण पोषक तत्व पाया जाता है। यही कारण है कि बच्चा 6 महीने तक सिर्फ मां का दूध पीकर ही रहता है। लेकिन माँ का दूध और नवजात शिशु के बच्चे और बड़ों में ज़मीन आसमान का फर्क है। इंसान जब बड़ा होता है तो उसके पेट में खरबों व्यापारी पढ़ते हैं जो पेट में एक माहौल तैयार करते हैं। ये भोजन पचाने में हमारी मदद करता है। इसलिए इंसान का पेट धीरे-धीरे अपनी अलग-अलग अवस्था को पाता है और उसी खाते से भोजन का पाचन होता है। बच्चे के बाद के समय में पेट में कई तरह के बदलाव आते हैं और दूध के अलावा कई तरह के भोजन को पचाने की क्षमता विकसित होती है। इस स्थिति में अगर कोई सिर्फ दूध पीना नहीं चाहता है तो यह संभव नहीं है क्योंकि पेट अब सिर्फ दूध पचाने के लिए नहीं है बल्कि वह सिर्फ दूध पीने के लिए जरूरी है पेट से नहीं निकलेगा। दूसरी ओर हमें हर तरह की सामग्री उपलब्ध कराने के लिए। इसलिए दूध से काम नहीं चलेगा. अगर कोई सिर्फ दूध पीकर खर्राटे लेना चाहता है तो इसमें भारी मात्रा में मूर्ति बनाना पड़ सकता है।

अगर कोई जबरदस्ती दूध ही पियें

अगर किसी को सिर्फ दूध ही नहीं पीता है तो इलेक्ट्रोज पेट में भर जाएगा जिसके कारण आंत के गुड डेथ डेथ का मामला सामने आया है। गुड्डे के अंतिम दिन से नवीनतम लाइनिंग पर असर होगा और खराब बैडक्रैक इसे क्रशने विध्वंसक बना देगा। इस स्थिति में लूज मोशन, गैस, अपच और पेट फूलने जैसी समस्या सामने आएगी। पेट हमेशा फूला रहेगा आम बात होगी. वहीं पेट में ऐंठन भी हो रही है। एक तरह से यह पूरे डाइजेस्टिव सिस्टम को हिला देगा। डॉ. प्रियंका रोहतगी का कहना है कि वजन कम करने के लिए भी लोग सिर्फ दूध पीकर कुछ दिन रहने की सलाह देते हैं, लेकिन यह तरीका बिल्कुल गलत है। इससे इम्यूनिटी ख़राब हो जाएगी और आपको कई तरह की बीमारियां हो सकती हैं। अगर दूध की रेकॉर्ड रिलीज हो तो कई तरह की बीमारियां हो सकती हैं, जिससे हॉस्पिटल जाने की नौबत आ सकती है। साथ ही संक्रमण से कई रोग भी हो सकते हैं। इसलिए इस मेडिसिन को छोड़ना बहुत अच्छा है।

ये बीमारी लग गयी

अगर आप सिर्फ दूध पीना चाहते हैं तो इससे गैस, ब्लोटिंग, सिर दर्द, पाइथन, सूजन, लेक्टोज डायज, क्रोनिक सूजन संबंधी समस्या, कब्ज, इरीटेंशियल बा डायज जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इसके अलावा ब्लड शुगर तेजी से ऊपर-नीचे हो सकता है। इससे महिलाओं के पेट में सूजन और तेज ऐंठन हो सकती है। असल में, पेट में शॉर्ट चेन कॉम्बैट एसिड पाए जाते हैं, जिसमें साधारण, मिथेन, कार्बोहाइड्रेट के साथ पेट में बहुत तेज दर्द हो सकता है। इससे इम्युनिटी फ़ार्म हो जाता है. इन सभी सामानों से सिर्फ दूध पीकर कुछ दिन होना बेहद बुरा विचार है।

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