देश- कौन हैं ऋतब्रत बनर्जी? जिन्हें ममता बनर्जी ने बनाया राज्यसभा उपचुनाव के लिए TMC का उम्मीदवार- #NA

ममता बनर्जी और ऋतब्रत बनर्जी.

तृणमूल कांग्रेस ने पश्चिम बंगाल में राज्यसभा की एक खाली सीट के लिए उम्मीदवार के नाम की घोषणा की. ममता बनर्जी ने पार्टी के नेता ऋतब्रत बनर्जी को एक सीट के लिए होने वाले उपचुनाव के लिए उम्मीदवार घोषित किया है. आरजी कर मामले के विरोध में राज्यसभा में तृणमूल सांसद के पद से जवाहर सरकार ने इस्तीफा दे दिया था. वह सीट काफी समय से खाली थी. राज्यसभा उपचुनाव आसन्न हैं. जवाहर सरकार के पास सांसद के रूप में 15 महीने और बचे थे. तृणमूल कांग्रेस ने संसद के उच्च सदन की रिक्त सीट के लिए ऋतब्रत बनर्जी को नामांकित किया. यह घोषणा शनिवार को सोशल मीडिया पर की गई.

तृणमूल कांग्रेस ने सोशल साइट एक्स पर लिखा, ”आगामी राज्यसभा उपचुनाव के लिए उम्मीदवार के रूप में ऋतब्रत बनर्जी के नाम की घोषणा की जा रही है. हम उन्हें हृदय से बधाई देते हैं. आशा है कि वह राज्यसभा में तृणमूल कांग्रेस की योग्य विरासत को आगे बढ़ाएंगे और हर भारतीय के अधिकारों के लिए बोलेंगे.

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अभिषेक बनर्जी ने भी सोशल साइट एक्स पर ऋतब्रत बनर्जी को शुभकामनाएं दीं. उन्होंने लिखा, ”ऋतब्रत इस दर्जे के हकदार हैं. उन्होंने राज्य भर में पार्टी संगठन और ट्रेड यूनियन कार्यकर्ताओं को मजबूत करने के लिए अथक प्रयास किया. इसमें समय लग सकता है, लेकिन कड़ी मेहनत हमेशा फल देती है. ”

जानें कौन हैं ऋतब्रत बनर्जी

बता दें कि ऋतब्रत बनर्जी कभी सीपीएम के छात्र संगठन एसएफआई के नेता थे. आशुतोष कॉलेज में पढ़ाई के दौरान वह एसएफआई के अखिल भारतीय महासचिव बने. ऋतब्रत बनर्जी दिवंगत पूर्व मुख्यमंत्री बुद्धदेव भट्टाचार्य के खास माने जाते थे. 2014 में सीपीएम ने उन्हें राज्यसभा भेजा. सीपीएम सूत्रों के मुताबिक खुद बुद्धदेव भट्टाचार्य की इस मामले में खास दिलचस्पी थी.

एप्पल वॉच-मोंट ब्लैंक पेन रखने पर हुआ था विवाद

एप्पल वॉच और मोंट ब्लैंक पेन रखने और लक्जरी लाइफ स्टाइल को लेकर वह सुर्खियों में आये थे और उस समय यह सवाल किये गये थे कि सीपीआई-एमपी के ऋतब्रत बनर्जी पूर्णकालिक सदस्य होने के लिए पार्टी से उन्हें 6000 रुपये का मासिक मिलता था, उन्होंने इतनी महंगी चीजें कैसे खरीदीं, जिनकी कीमत लगभग 80,000 रुपये थी.

इसके बाद सीपीएम ने उन्हें 2017 में निष्कासित कर दिया. कुछ समय तक पार्टीविहीन राजनीति के बाद ऋतब्रत बनर्जी तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो गए. 2021 के चुनाव के बाद तृणमूल ने संगठनात्मक फेरबदल किया. उस समय उन्हें सत्तारूढ़ दल के श्रमिक संघ आईएनटीटीयूसी का प्रदेश अध्यक्ष बनाया गया था. वह इतने समय तक उस संगठनात्मक कार्य में व्यस्त थे. इस बार तृणमूल ने उन्हें राज्यसभा भेजने का फैसला किया.

जवाहर सरकार के इस्तीफा से खाली हुई है सीट

बता दें कि जवाहर सरकार ने पिछले सितंबर में आरजी केस में राज्यसभा सांसद पद से इस्तीफा दे दिया था. उन्होंने राजनीति छोड़ने का भी ऐलान किया. जवाहर सरकार ने पार्टी नेता ममता बनर्जी को इस्तीफा देने के लिए पत्र लिखा था. पत्र में जवाहर सरकार ने लिखा, ”मैंने पिछले एक महीने से आरजी कर अस्पताल में हुई घृणित घटना के खिलाफ हर किसी की प्रतिक्रिया को धैर्यपूर्वक देखा है और सोच रहा हूं कि आप पुरानी ममता बनर्जी की तरह क्यों नहीं कूदती और सीधे जूनियर डॉक्टरों से बात नहीं करती. अब सरकार जो भी दंडात्मक कदम उठा रही है, एक शब्द में कहें तो बहुत कम और बहुत देर से उठाए गए कदम हैं.” तब से राज्यसभा में तृणमूल का पद खाली था.

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