दुनियां – नेवी डे स्पेशल: भारत के मुकाबले कितनी मजबूत है पाकिस्तान और चीन की नौसेना? – #INA
4 दिसंबर को भारत नेवी डे मनाने जा रहा है. इस दिन भारतीय नौसेना की वीरता, समर्पण और देश की समुद्री सीमाओं की रक्षा में उसकी भूमिका को याद कर सम्मानित किया जाता है. नेवी डे सेलिब्रेशन की तैयारियों के बारे में जानकारी देते हुए नौसेना प्रमुख एडमिरल दिनेश के त्रिपाठी ने पाकिस्तानी नौसेना की बढ़ती हुई ताकत के बारे में हैरानी जताते हुए कहा कि पाकिस्तान नेवी की अचानक बढ़ती ताकत चौंकाने वाली है और इसमें चीन उसकी मदद कर रहा है.
एडमिरल त्रिपाठी ने कहा कि पाकिस्तानी नौसेना के कई जंगी जहाज चीन की मदद से तैयार किए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि हम चीन की नेवी के साथ ही अन्य पड़ोसी नौसेनाओं पर भी नज़र बनाए हुए हैं और किसी भी चुनौती से निपटने के लिए तैयार हैं. दरअसल पाकिस्तान और चीन दोनों ही भारत के खिलाफ मिलकर साजिशें रचते रहे हैं, ऐसे में दोनों के हर कदम की निगरानी करना जरूरी हो जाता है.
साथ ही इस मौके पर यह जानना भी ज़रूरी है कि भारत के मुकाबले चीन और पाकिस्तान की नौसेना कितनी मजबूत है?
ग्लोबल फायरपावर इंडेक्स 2024 के अनुसार, दुनियाभर के 145 देशों की लिस्ट में जहां भारतीय नौसेना 8वें स्थान पर है तो वहीं पाकिस्तान 32वें स्थान पर है. हालांकि चीन, रूस के बाद इस लिस्ट में दूसरे स्थान पर काबिज़ है. लेकिन भारतीय नौसेना ‘ड्रैगन’ को टक्कर देने के लिए बड़ी तैयारियों में जुटी है.
भारतीय नौसेना की बड़ी तैयारी
नेवी चीफ ने जानकारी दी है कि भारत और फ्रांस के बीच जल्द ही रफाल एम फाइटर की डील फाइनल होने वाली है, जिसकी तैनाती INS विक्रांत पर की जाएगी. इसके अलावा 3 स्कॉर्पीन सबमरीन की डील भी फाइनल स्टेज में है, जिस पर अगले एक से दो महीने में हस्ताक्षर हो सकते हैं. यही नहीं 62 जहाज और एक सबमरीन का निर्माण भारत में जारी है, जो आत्मनिर्भर भारत की अटूट मिसाल है.
आने वाले 10 सालों में भारतीय नौसेना अपनी ताकत में अभूतपूर्व इज़ाफा करने वाली है. इन 10 सालों में भारतीय नौसेना में 96 जहाज और पनडुब्बियां शामिल की जाएंगी. रिपोर्ट्स के अनुसार, साल 2030 तक भारतीय नौसेना में 155 से 160 वॉरशिप होगी.
चीन और पाकिस्तान का क्या है प्लान?
भारत के कट्टर प्रतिद्वंद्वी चीन के पास फिलहाल 355 जंगी जहाज, पनडुब्बी, एयरक्रफ्ट कैरियर और वॉर शिप हैं. अनुमान के मुताबिक 2025 तक चीन के वॉरशिप की संख्या 420 हो जाएगी. ड्रैगन इतने में ही नहीं रुकने वाला है बल्कि वह साल 2030 तक अपनी नेवी बैटल फोर्स को 460 तक पहुंचाने की कोशिश में जुटा है.
चीन समंदर में न केवल अपनी ताकत में इज़ाफा कर रहा है बल्कि वह पाकिस्तान की भी जमकर मदद करने में जुटा है. मौजूदा समय में पाकिस्तान के पास जहां 24 जंगी जहाज हैं वहीं रिपोर्ट के अनुसार साल 2035 तक पाकिस्तान के जंगी जहाजों की संख्या 50 तक पहुंच सकती है. हालांकि पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था को देखते हुए उसके इस लक्ष्य पर सवाल उठ रहे हैं और यही वजह है कि इसमें चीन के शामिल होने का अंदेशा जताया जा रहा है.
समंदर में किसके पास कितनी ताकत?
अगर वर्तमान ताकत की बात करें तो भारतीय नौसेना के पास दो एयरक्राफ्ट कैरियर INS विक्रमादित्य और INS विक्रांत ऑपरेशनल हैं. चीन पास भी दो एयरक्राफ्ट कैरियर हैं तो वहीं पाकिस्तानी नौसेना के पास कोई भी एयरक्राफ्ट कैरियर नहीं है.
भारतीय नौसेना के विध्वंसक युद्धपोतों की संख्या 12 है, चीन इस मामले में भारत से आगे है और उसके पास 49 डेस्ट्रॉयर हैं, वहीं पाकिस्तानी नौसेना के पास विध्वंसक युद्धपोतों की संख्या महज़ 2 है.
भारतीय नौसेना के पास 18 सबमरीन (पनडुब्बियां) हैं, इनमें से 3 पनडुब्बियां परमाणु मिसाइलें दागने में सक्षम हैं. उधर पाकिस्तानी नौसेना के पास 8 पनडुब्बियां हैं तो वहीं चीन के पास 61 पनडुब्बियां हैं.
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सौजन्य से टीवी9 हिंदी डॉट कॉम
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