सेहत – महिलाओं को इसकी कमी से रहता है जोड़ों और कमर में दर्द? आप कहीं भी हों तो इसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर नहीं कर रहे!
कैल्शियम एक ऐसा आइटम है जिस पर हमारा शरीर पूरी तरह से प्रतिबंधित है। असली हमारी हड्डियाँ 99% कैल्शियम से बनी हैं। इसलिए बचपन से बच्चों को दूध पिलाया जाता है ताकि उनकी हड्डियां मजबूत हो सकें। कैल्शियम के अवशेषों के लिए ही नहीं बल्कि शरीर के अन्य अंगों के लिए भी यह जरूरी है। ज्यादातर लोग खाने-पीने में कैल्शियम की कमी पूरी कर लेते हैं लेकिन कैल्शियम जल्दी से शरीर में एब्जॉर्ब नहीं होता है। महिलाओं को इस सामान की बहुत ज्यादा जरूरत होती है लेकिन वह अक्सर दूध, दही सहित कैल्शियम की आपूर्ति को बंद कर देते हैं।
महिलाओं को क्यों लिया जाना चाहिए कैल्शियम
राष्ट्रीय स्वास्थ्य संस्थान के अनुसार महिलाएं पुरुषों के पास अपना बोन मास जल्दी से जल्दी खत्म होने लगता है। जब वह 50 साल से ऊपर होते हैं तो उनमें 4 गुना ऑस्टियोपोरोसिस के नाम की बीमारी होने का खतरा बढ़ जाता है। वहीं महिलाओं में बड़े पैमाने पर अवशेष पाए जाते हैं। हर महिला को प्रतिदिन 1000 से 1200 मिली ग्राम कैल्शियम की आवश्यकता होती है। कैल्शियम की कमी से हड्डियों पर असर तो दिखता ही है लेकिन साथ में मांसपेशियों में ऐंठन, अवसाद, कंफ्यूजन, दौरा, दांतों और कैल्शियम की कमी का असर भी देखने को मिलता है।
एकल में ध्यान रखना होता है
दिल्ली स्थित सर गंगाराम हॉस्पिटल में सिंगिंगेकॉन्टिशन डॉ. हुमा अली का कहना है कि एलएलसी में कैल्शियम लेना बहुत जरूरी है। इससे गर्भ में पल रहे बच्चे की हड्डियां और दांत शामिल हैं। सूची में 1300 मिली ग्राम तक कैल्शियम खाना जरूरी है। जिन महिलाओं के शरीर में इस घोड़े की कमी होती है, उनके बच्चे के दांत और हड्डियां बन जाती हैं। वहीं महिलाओं के दांतों में भी कैल्शियम की कमी के कारण खराब हो जाते हैं। गर्भावस्था के दौरान पहली तिमाही के बाद कैल्शियम की खुराक बढ़ाने की सलाह दी जाती है।
कैल्शियम की कमी से तंत्रिका तंत्र पर भी असर पड़ता है (छवि-कैनवा)
रजोनिवृत्ति में हार्मोन्स निर्मित विलेन
हर महिला की मेंस्ट्रुअल साइकल का चलन इसी वजह से है कि हर महीने में होटलें बंद हो जाती हैं लेकिन जब ज्यादा काम करना बंद कर दिया जाता है तो फिल्में भी बंद हो जाती हैं। महिलाओं को जब तक फ्लैट्स होते हैं, उनके शरीर में एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरॉन नाम के हार्मोन बने रहते हैं। लेकिन जब रजोनिवृत्ति होती है तो एस्ट्रोजन का स्तर कम होने लगता है। यह हार्मोन्स का एक सिद्धांत देता है। यह बोनियोस्टेसिस कहते हैं। इससे नए बोन टिशू बने होते हैं, नई हड्डियाँ विकसित होती हैं और शरीर की संरचना अच्छी होती है। लेकिन जब रजोनिवृत्ति के बाद यह मंदी बंद हो जाती है तो महिलाओं की हड्डियाँ ख़राब हो जाती हैं।
दिल की सेहत बनी रहती है
जिन महिलाओं में कैल्शियम की कमी नहीं होती, उनका दिल भी स्वस्थ रहता है। कैल्शियम दिल की धमनियों के आस-पास के मिश्रण को आराम मिलता है जिससे दिल की कार्यक्षमता अच्छी रहती है। इससे भी बढ़िया नहीं है. कैल्शियम ब्लड क्लॉटिंग के लिए जरूरी होता है यानी चोट की लंबाई पर यह खून को शुरू से शुरू करना होता है।
वजन नियंत्रण है
कैल्शियम पशुचिकित्सक के लिए आवश्यक है. इससे वजन भी कम होता है. कुछ रिसर्च में ये बात सामने आई है. अध्ययन के अनुसार कैल्शियम कैल्शियम के साथ समृद्ध में शामिल है और आहार को एब्जॉर्ब होने से शामिल किया गया है। कैल्शियम उन हार्मोन्स को बनने से जो आपके शरीर में वसा जमा होने का कारण बनते हैं। इससे वजन कम करने में मदद मिलती है।
विटामिन डी और कैल्शियम का कनेक्शन
कैल्शियम का विटामिन डी से गहरा संबंध है। जिन लोगों में विटामिन डी की कमी होती है, उनके शरीर में कैल्शियम एब्जॉर्ब नहीं होता है, फिर वह किटाणु कैल्शियम खा लेता है। शरीर में कैल्शियम की कमी न हो, इसके लिए विटामिन डी का भी ध्यान रखना जरूरी है। इसके लिए हर रोज सुबह के समय धूप में बैठें। खाने में अंडा और सलमान नाम की मछली शामिल करें।
कैल्शियम सेटलमेंटल स्वास्थ्य अच्छा रहता है (छवि-कैनवा)
होपपराथायरायडिज्म हो तो समस्या
जिन महिलाओं के शरीर में रोबोट ग्रंथि से अवशेष हार्मोन कम मात्रा में बने होते हैं तो उन्हें हाइपोपाइराथायरायडिज्म हो जाता है। इसमें थकान, कमजोरी, चिड़चिड़ापन और वजन बढ़ने की समस्या होती है। अगर गड़बड़ी की समस्या हो तो तब भी शरीर में कैल्शियम एब्जॉर्ब नहीं होता है। इसके लिए इलाज का इलाज जरूरी है।
खाने में शामिल करें कैल्शियम
क्लीवलैंड क्लिनिक के अनुसार हर किसी को उम्र के हिसाब से कैल्शियम खाना चाहिए। अगर खून में कैल्शियम की मात्रा 8.5 ml से कम हो जाए तो समझ लें कि शरीर में कैल्शियम कम है। दूध, दही, दही, पनीर, सैल्मन मछली, छाछ, अंगूर के फल, बीज, टोफू, गोभी, बींस, संतरा, मखाने, भिन्डी, ब्रोकली, शकरकंद और सोयाबीन को शामिल करने से कैल्शियम की कमी को दूर किया जा सकता है।
पहले प्रकाशित : 7 दिसंबर, 2024, 15:55 IST
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