MP News: घुटने भर पानी, जमा कूड़ा-कचरा… शिप्रा नदी के इस जल में सिंहस्थ कुंभ की तैयारी, साधु-संतों ने दी चेतावनी – INA
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मां शिप्रा के साफ और स्वच्छ होने के दावे भले ही प्रशासन करता हो, लेकिन साधु-संतों के निरीक्षण के दौरान आज उनके इस झूठ की पोल खुल गई. ऋणमुक्तेश्वर घाट पर मां शिप्रा का जल आचमन योग्य भी नहीं है. साथ ही पूरी नदी कूड़े-कचरे से भरी हुई है. कुछ ऐसे ही हाल शिप्रा नदी के अन्य घाटों पर भी है, जहां शिप्रा नदी इसमें मिलने वाले नालों के कारण दूषित हो रही हैं. साधु-संत मां शिप्रा के निरीक्षण के दौरान आक्रोशित दिखाई दिए और उन्होंने नाले में उतरकर प्रशासन को यह चेतावनी दे डाली कि अब भी समय है समझ जाओ, वरना मां शिप्रा को निर्मल और प्रवाहमान बनाने के लिए हम उग्र आंदोलन करेंगे.
स्थानीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष रामेश्वर दास महाराज ने बताया कि प्रशासन भले ही सिंहस्थ की तैयारी की बड़ी-बड़ी बातें करता हो, लेकिन जिस मुख्य बिंदु यानि की मां शिप्रा के जल से स्नान को लेकर सिंहस्थ महाकुंभ ढाई वर्षों बाद आयोजित किया जाने वाला है, वही मां शिप्रा वर्तमान में दुर्दशा की शिकार हो रही हैं. ऋणमुक्तेश्वर घाट के पास जहां शिप्रा नदी कचरे से सराबोर हो रही हैं तो वहीं कवेलू कारखाना, होटल मित्तल, होटल इंपीरियल, लालपुर, दुर्गादास की छत्री और अन्य क्षेत्रों में खुले रूप से शिप्रा नदी में गंदे नाले मिल रहे हैं.
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नदी में नालों के मिलने से इन स्थानों का पानी पूरी तरह काला पड़ गया था और सड़न के कारण यह बदबू मार रहा है. रामेश्वर दास महाराज ने आगे बताया कि प्रशासन को यह पता ही नहीं है कि मां शिप्रा में खुलेआम नाले मिल रहे हैं. मुझे यह समझ नहीं आता है कि आखिर पीएचई विभाग क्या कर रहा है. आगामी समय में पर्व स्नान आ रहे हैं, सिंहस्थ आ रहा है. ऐसे में मां शिप्रा की दुर्दशा की ओर कोई ध्यान क्यों नहीं दे रहा है. कल-कल प्रवाहित रहने वाली मां शिप्रा की इस दुर्दशा के लिए आखिर दोषी प्रशासन है.
रोज फिकवाता हूं शिप्रा का कचरा- महावीर नाथ
ऋण मुक्तेश्वर महादेव मंदिर के पीर योगी महंत महावीर नाथ ने बताया कि मां शिप्रा के हर घाट की स्थिति दयनीय है. यहां मां शिप्रा का पानी आचमन लायक भी नहीं है. ऋण मुक्तेश्वर घाट की बात की जाए तो यहां नदी में कचरा ही कचरा फैला हुआ है. मैं प्रतिदिन इसे साफ और स्वच्छ करने का प्रयास करता हूं और कचरा फिकवाता हूं.
साधु-संत उतरे नदी के गंदे पानी में
स्थानीय अखाड़ा परिषद अध्यक्ष रामेश्वर दास महाराज और पीर योगी महंत महावीर नाथ के साथ शुक्रवार को साधु-संतों का एक दल मां शिप्रा का निरीक्षण करने पहुंचा. निरीक्षण के दौरान इस दल ने रामघाट से लेकर मां शिप्रा के संपूर्ण घाटों पर पहुंचकर मां शिप्रा की दुर्दशा देखी तो साधु-संत आक्रोशित हो गए, क्योंकि साधु-संतों ने ऋणमुक्तेश्वर घाट के समय मां शिप्रा में उतरकर इस नदी को साफ स्वच्छ करने की बात कही और यह चेतावनी दे डाली की अगर शिप्रा नदी में गंदे नालों का पानी मिलने से नहीं रोका जाता तो हम जल्द ही उग्र आंदोलन करेंगे.
घुटने भर पानी, जमा कूड़ा-कचरा… शिप्रा नदी के इस जल में सिंहस्थ कुंभ की तैयारी, साधु-संतों ने दी चेतावनी
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