Nation- पटना: संगीत, नृत्य एवं लघु नाट्य प्रतियोगिता के तीसरे दिन 5 नाटकों की धूम, दर्शकों ने उठाया लुत्फ- #NA
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बिहार सचिवालय स्पोर्ट्स फाउंडेशन के तत्वावधान में केंद्रीय सिविल सेवा सांस्कृतिक एवं क्रीड़ा बोर्ड, भारत सरकार के मार्गदर्शन में ‘अखिल भारतीय असैनिक सेवा संगीत, नृत्य एवं लघु नाट्य प्रतियोगिता 2024-25’ आयोजन का आज तीसरा दिन था. यह आयोजन ऊर्जा ऑडिटोरियम, राजवंशी नगर, पटना, बिहार में किया गया है. मंच संचालिका लाडली रॉय और जया अग्रवाल ने आज कुल पांच नाटकों के मंचन की घोषणा की.
पहली कहानी थी- ‘काम का न काज का तमाशा मूर्ख राज का यह कहानी लोगों के अधिकारों की बात बताती है. नाटक कहता है कि लोगों को यह पता होता है कि बुनियादी चीजों रोटी-कपड़ा-मकान से ऊपर भी बहुत सारी सुविधाएं हैं. बहुत सारी चीजें हैं जो हमारे पास नहीं जो गरीबों के पास हैं. नाटक में नौकरशाही व्यवस्था के पूंजीपति वर्ग पर भी कटाक्ष है.
आज के कार्यक्रम में दूसरे नाटक ‘हमारे राम’ जिसका मंचन हुआ. वह हिमाचल प्रदेश सचिवालय की तरफ से प्रस्तुत किया गया. कहानी मूल रूप से तेलुगू भाषा में कम्बन रामायण के आधार पर थी. जिसका नाट्यरूपांतरण महानायक आशुतोष राणाजी ने किया. इस कहानी में किस तरह शूर्पणखा ने अपने पति के वध का बदला रावण से लिया, यह दिखाया गया है.
शूर्पणखा का पति राक्षस नहीं था. रावण ने इस वजह से उसकी हत्या कर दी थी. जिसके बाद शूर्पणखा ने एक रणनीति बनाई. उसने रावण को सीता-हरण के लिए उकसाया. उसे रावण को हराना था. इस कहानी में शूर्पणखा के इस दृश्य को नहीं दिखाया जाता है लेकिन ऋषि द्वारा इसमें पूरा का पूरा दर्शाया गया. पूरी रणनीति शूर्पणखा की थी.
तीसरे नाटक जिसका मंचन हुआ वह महाराष्ट्र सचिवालय की प्रस्तुति थी. नाटक का शीर्षक था ‘द कॉमन मैन’. इस नाटक में एक साधारण परिवार के संघर्षों की कहानी को दिखाया गया है. साधारण परिवार कुछ खास करने की चाह में कैसे रोज गिरता है और फिर संभलता है इस उम्मीद के साथ कि एक दिन सब ठीक-ठाक हो जाएगा.
आज के दिन की चौथी प्रस्तुति आरएसबी कानपुर की थी. नाटक का शीर्षक था ‘ताज महल का टेंडर’. बादशाह शाहजहां अगर आज के वर्तमान समय में ताजमहल बनवाना चाहते तो इस आधुनिक समय में ताजमहल का टेंडर देने में कितनी सुविधाएं या कठिनाई से रूबरू होना पड़ता. इसी को इस नाटक में दिखाया गया है. हास्य भरे लहजे में सरकारी संस्थाओं के कार्य करने की गति को इस नाटक में दर्शाया गया है.
गौरतलब है कि इस आयोजन में अलग-अलग प्रदेशों की 18 टीमें हिस्सा ले रही हैं. कुल मिलाकर करीब 750 प्रतिभागी इसमें शिरकत कर रहे हैं. इस प्रतियोगिता की खासियत यह है कि इसमें भाग लेने वाले सारे प्रतिभागी सरकारी पदाधिकारी हैं और उनके द्वारा ही अलग-अलग विधाओं में कार्यक्रम प्रस्तुत किया जा रहा है.
पटना: संगीत, नृत्य एवं लघु नाट्य प्रतियोगिता के तीसरे दिन 5 नाटकों की धूम, दर्शकों ने उठाया लुत्फ
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