National-India Budget 2025: निर्मला सीतारमण के इन उपायों से आम आदमी को मिलेगी बड़ी राहत – #INA
यूनियन बजट 2025 में सरकार का फोकस आम आदमी पर होगा। एक्सपर्ट्स ने सरकार को उन लोगों को राहत देने की सलाह दी है, जिनकी इनकम 10-15 लाख रुपये के बीच है और जो नौकरी करता है। इस वर्ग के लोग सरकार को समय पर टैक्स चुकाते हैं। ऐसे लोगों को राहत देने के लिए सरकार इनकम टैक्स स्ट्रक्चर को आसान बनाने के लिए बड़े ऐलान कर सकती है। ऐसा होने से टैक्सपेयर्स के बीच कंप्लायंस बढ़ेगा।
टैक्स ब्रैकेट्स कम करने की जरूरत
टैक्स एक्सपर्ट्स का कहना है कि सरकार ने 2020 में इनकम टैक्स की नई रीजीम पेश की थी। यह पुरानी रीजीम के मुकाबले आसान है। लेकिन, इसमें भी 5 से 30 फीसदी तक टैक्स के कई इनकम ब्रैकेट्स हैं। इससे टैक्सपेयर्स और टैक्स एडमिनिस्ट्रेशन के लिए जटिलता बढ़ जाती है। सरकार ब्रैकेट की संख्या घटाती है तो इससे टैक्सपेयर्स को काफी राहत मिल सकती है। इसके लिए सरकार सिर्फ तीन स्लैब रख सकती है। पहला स्लैब 10 फीसदी, दूसरा 20 फीसदी और तीसरा 30 फीसदी का हो सकता है।
स्टैंडर्ड डिडक्शन में इजाफा करना होगा
इनकम टैक्स की नई रीजीम में अभी स्टैंडर्ड डिडक्शन 75,000 रुयये है। सरकार इसे बढ़ाकर 1 लाख रुपये कर सकती है। इससे नौकरी करने वाले लोगों को काफी राहत मिलेगी। नौकरी करने वाले लोगों को पिछले कुछ सालों में महंगाई ज्यादा बढ़ने से काफी मुश्किल का सामना करना पड़ रहा है। स्टैंडर्ड डिडक्शन बढने से उन पर टैक्स का बोझ घटेगा। पिछले साल यूनियन बजट में सरकार ने नई रीजीम में स्टैंडर्ड डिडक्शन 50,000 से बढ़ाकर 75,000 रुपये कर दिया था। इसे बढ़ाकर 1 लाख रुपये करने की जरूरत है।
सीनियर सिटीजंस के लिए ज्यादा स्टैंडर्ड डिडक्शन
टैक्स एक्सपर्ट्स का कहना है कि सीनियर सिटीजंस को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। सरकार अगर उन्हें इनकम टैक्स में राहत देती है तो इससे उन्हें काफी फायदा होगा। सरकार को सीनियर सिटीजंस के लिए इनकम टैक्स की नई रीजीम में बेसिक एग्जेम्प्शन लिमिट बढ़ाकर 7000 रुपये कर देनी चाहिे। साथ ही सीनियर सिटीजंस के लिए स्टैंडर्ड डिडक्शन 75,000 रुपये से बढ़ाकर 2,00,000 रुपये किया जा सकता है।
यह भी पढ़ें: Union Budget FY2025: बजट के बाद कंजम्प्शन सेक्टर की बढ़ेगी चमक, इन शेयरों को लग सकते हैं पंख
टीडीसी के नियमों को आसान बनाने की दरकार
सरकार टीडीएस के नियमों में भी बदलाव कर सकती है। अभी 50 लाख रुपये से ज्यादा कीमत पर प्रॉपर्टी खरीदने पर खरीदार को टीडीएस काटना पड़ता है। टीडीएस का पैसा खरीदार के पैन के साथ फॉर्म 26क्यूबी के जरिए डिपॉजिट कराया जाता है। लेकिन, अगर प्रॉपर्टी किसी NRI से खरीदी जाती है तो खरीदार को टैन लेना पड़ता है। फिर इस टैन के साथ टैक्स चुकाना पड़ता है। इसके अलावा खरीदारा को जटिल ई-टीडीएस रिटर्न भी फाइल करना पड़ता है। सरकार को इस जटिल प्रोसेस को आसान बनाने की जरूरत है।
India Budget 2025: निर्मला सीतारमण के इन उपायों से आम आदमी को मिलेगी बड़ी राहत
देश दुनियां की खबरें पाने के लिए ग्रुप से जुड़ें,
#INA #INA_NEWS #INANEWSAGENCY
Copyright Disclaimer :-Under Section 107 of the Copyright Act 1976, allowance is made for “fair use” for purposes such as criticism, comment, news reporting, teaching, scholarship, and research. Fair use is a use permitted by copyright statute that might otherwise be infringing., educational or personal use tips the balance in favor of fair use.
Credit By :-This post was first published on hindi.moneycontrol.com, we have published it via RSS feed courtesy of Source link,