देश- इंसानियत जिंदा है… टीटीई ने हार्ट अटैक के बाद सीपीआर देकर बचाई यात्री की जान- #NA
टीटीई ने सीपीआर देकर बचाई यात्री की जान
पूर्वोत्तर रेलवे के दो टीटीई ने चलती ट्रेन में एक यात्री की कुछ ऐसी मदद की जिससे अब पूरे देश में उनकी खूब चर्चा हो रही है. अमृतसर से कटिहार जाने वाली ट्रेन में एक यात्री को हार्ट अटैक आ गया था. इस दौरान देवदूत बनकर टीटीई ने सीपीआर देकर यात्री की जान बचाई और उसके एक नया जीवनदान दिया. सीपीआर देकर जान बचाने के बाद ट्रेन में यात्रा करने वाले अन्य यात्रियों ने रेलवे कर्मचारियों का धन्यवाद किया.
अमृतसर से कटिहार तक चलने वाली 15078 आम्रपाली एक्सप्रेस में शुक्रवार को स्लीपर कोच में यात्रा कर रहे एक यात्री को हार्ट अटैक आ गया. जिसके कारण यात्री बेहोश हो गया. अचानक हुई इस घटना से ट्रेन के कोच में अफरा-तफरी मच गई. उस वक्त ट्रेन में छपरा के उप मुख्य टिकट निरीक्षक राजीव कुमार और मनमोहन कुमार अपनी ड्यूटी कर रहे थे. यात्री को दिल का दौरा पडने की सूचना मिलते ही दोनों यात्री के पास बिना देरी किए पहुंचे.
टीटीई ने यात्री को दिया सीपीआर
बेहोश पड़े यात्री को कार्डियोपल्मोनरी रिससिटेशन यानी सीपीआर होश में लाने की कोशिश करने लगे. साथ ही उन्होंने छपरा स्वास्थ्य यूनिट के डॉक्टर को भी तुरंत मामले की जानकारी दी. टीटीई ने लगातार सीपीआर देने और आर्टिफिशियल ब्रीदिंग देने की कोशिशों के बाद यात्री ने अपनी आंखें खोली और बेहतर महसूस करने लगा. तब तक ट्रेन छपरा स्टेशन पर पहुंच चुकी थी. यहां ट्रेन आने पर तत्काल उस यात्री को हेल्थ यूनिट छपरा के डॉक्टर ने अटेंड किया.
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कर्मयोगी मॉड्यूल के तहत दी गई थी ट्रेनिंग
दोनों टीटीई के जीवन रक्षक प्रयास के कारण एक यात्री की जान बचाने में मदद मिली. इधर रेल प्रशासन ने जानकारी दी है कि पूर्वोत्तर रेलवे ने अपने कर्मचारियों को यात्री सेवा कार्यों में निपुण बनाने के साथ ही कार्य क्षमताओं को विकसित करने के लिए कर्मयोगी मॉड्यूल में प्रशिक्षित किया है. इन दोनों ही टीटीई को कर्मयोगी प्रशिक्षण में प्राथमिक चिकित्सा और सीपीआर प्रक्रिया का ज्ञान था, इसलिए वह यात्री का जीवन बचा सके.
इसके लिए यात्री ने रेलवे कर्मचारियों की सहायता और मेडिकल ज्ञान की सराहना की. सहयात्रियों ने भी रेलवे कर्मचारियों को हृदय से आभार प्रकट किया है.
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