खबर शहर , High Court : दावा सास-ससुर को विदेश यात्रा कराने का, भरण-पोषण के लिए अदालत का चक्कर लगा रहीं बेटियां – INA
सास-ससुर को विदेश यात्रा कराने का दावा करने वाले दामाद की दो नाबालिग बेटियां भरण-पोषण के लिए सात साल से अदालत कर चक्कर लगा रही हैं। परिवार न्यायालय ने 11 लाख 40 हजार रुपये बकाया रकम छह किस्तों में अदा करने का आदेश दिया है। यह आदेश परिवार न्यायालय के प्रधान न्यायाधीश डॉ.बाल मुकुंद की अदालत ने किरन वर्मा की ओर से दाखिल अर्जी स्वीकार करते हुए दिया है।
मामला प्रयागराज के सिविल लाइंस थाना क्षेत्र का है। नवीन और किरन की शादी 2007 में हुई थी। इसके बाद दोनों अमेरिका चले गए। वहीं, उन्हें दो बेटियां हुईं। 2014 में दोनों भारत आए और नोएडा में संयुक्त नाम से दो फ्लैट खरीदकर रहने लगे। नवीन के माता-पिता भी वहीं आ गए। इसी दौरान नवीन की पुरानी महिला मित्र के बीच मोबाइल पर बातचीत शुरू हो गई। विरोध पर भी नवीन नहीं माना तो पत्नी दो बेटियाें संग प्रयागराज स्थित मायके आ गई।
2017 में किरन ने नवीन, उनके पिता इंद्रदेव वर्मा, मां अनारकली व महिला मित्र के खिलाफ दहेज उत्पीड़न का मुकदमा दर्ज कराया था। साथ ही जिला अदालत, इलाहाबाद के परिवार न्यायालय में भरण पोषण का मुकदमा भी दायर किया। दहेज उत्पीड़न के मामले में नवीन ने सास-ससुर को अपने खर्चे पर विदेश यात्रा कराने की दलील दी। हाईकोर्ट ने दहेज उत्पीड़न का मामला रद्द कर दिया। लेकिन, 2017 से अब तक किरन अपनी दो नाबालिग बेटियों संग पिता सभाजीत वर्मा के घर रह रही हैं। नवीन लखनऊ में बहुराष्ट्रीय कंपनी में तैनात हैं।