खबर फिली – Rajendra Prasad की वजह से हुआ था भोजपुरी सिनेमा का उदय, आज रिलीज होती पहली फिल्म तो कमाती करोड़ों – #iNA @INA

Rajendra Prasad Birth Anniversary: भोजपुरी सिनेमा आज फल-फूल रहा है. इस सिनेमा को आए बहुत लंबा वक्त तो नहीं हुआ है लेकिन इसका इतिहास इतना भी नया नहीं है जितना लोगों को लगता है. लोगों को ऐसा लग सकता है कि भोजपुरी सिनेमा का इतिहास अभी बस 10-20 साल पुराना है. लेकिन ऐसा नहीं है. इसका इतिहास देश के पहले राष्ट्रपति राजेंद्र प्रसाद के दौर से जुड़ा हुआ है. दरअसल राजेंद्र प्रसाद की ही पहल का नतीजा है कि भोजपुरी सिनेमा की शुरुआत हो सकी. साथ ही इसकी शुरुआत का श्रेय अगर किसी दूसरे शख्स को जाता है तो वो थे हिंदी सिनेमा के दिग्गज एक्टर नजीर हुसैन.

एक मुलाकात से बनी थी बात

एक्टर नजीर हुसैन और पूर्व राष्ट्रपति राजेंद्र प्रसाद की मुलाकात जब हुई तभी से भोजपुरी सिनेमा की शुरुआत हुई. बात 1960 की है. इस समय तक नजीर हुसैन बॉलीवुड फिल्म इंडस्ट्री के दिग्गज एक्टर में शुमार किए जाते थे. उन्हें फिल्मों में भरसर रोल मिलते थे और उनकी अलग ही पॉपुलैरिटी थी. ऐसे में जब नजीर हुसैन की मुलाकात राजेंद्र प्रसाद से हुई तो राष्ट्रपति ने एक्टर से भोजपुरी में फिल्म बनाने को कहा. नजीर ने भी इस बात को सीरियसली लिया और इस काम में लग गए. नतीजा ये हुआ कि 3 साल के अंदर ही भोजपुरी सिनेमा की पहली फिल्म आ गई.

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क्या था फिल्म का नाम?

भोजपुरी में बनी पहली फिल्म का नाम ‘गंगा मैया तोहे पियरी चढ़इबो’ रखा गया. फिल्म की खास बात ये थी कि इसमें खुद नजीर हुसैन ने अभिनय भी किया था. इसके अलावा फिल्म में बॉलीवुड के और भी सितारे नजर आए थे. इसके पहले कोई भी भोजपुरी फिल्म नहीं बनी थी. या किसी फिल्म में भोजपुरी नहीं बोली गई थी. ये फिल्म भोजपुरी सिनेमा के लिए पायनियर साबित हुई और इसके बाद से भोजपुरी फिल्में बनने का सिलसिला शुरू हो गया.


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