दुनियां – किस तैयारी में है यूनुस सरकार? शेख हसीना के खिलाफ इंटरपोल का खटखटाया दरवाजा – #INA

बांग्लादेश की अंतरिम सरकार ने शेख हसीना को भारत से वापस लाने के लिए बड़ा दांव खेला है. देश के इंटरनेशनल क्राइम ट्रिब्यूनल (ICT) के चीफ प्रॉसीक्यूटर ताजुल इस्लाम ने कहा है कि ‘रविवार को IG के जरिए उनके दफ्तर से इंटरपोल को एक पत्र भेजा गया है.’ बांग्लादेश की सरकार ने मानवता के खिलाफ अपराध के लिए पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की गिरफ्तारी के लिए इंटरपोल से ‘रेड नोटिस’ जारी करने की मांग की है.
ICT परिसर में पत्रकारों से बात करते हुए चीफ प्रॉसीक्यूटर ताजुल इस्लाम ने कहा कि, ‘हमने दो दिन पहले इंटरपोल से रेड नोटिस जारी करने की गुजारिश की है, पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना कई मामलों में आरोप हैं और वह देश छोड़कर भाग चुकी हैं. यह गुजारिश सीधे ICT दफ्तर की ओर से की गई है.’
इंटरपोल से रेड नोटिस जारी करने की मांग
उन्होंने कहा कि, अंतरराष्ट्रीय पुलिसिंग एजेंसी इंटरपोल से शेख हसीना की गिरफ्तारी सुनिश्चित करने के लिए जरूरी कदम उठाने की मांग की गई है. शेख हसीना मानवता के खिलाफ अपराध की आरोपी हैं और उनके खिलाफ एक अरेस्ट वारंट भी लंबित है. फिर भी वह बांग्लादेश के क्षेत्राधिकार से बाहर हैं.
इंटरपोल का ‘रेड नोटिस’ क्या है?
वहीं इंटरपोल की वेबसाइट के मुताबिक, रेड नोटिस कोई इंटरनेशनल अरेस्ट वारंट नहीं है. रेड नोटिस, दुनियाभर की कानून प्रवर्तक एजेंसियों के लिए एक रिक्वेस्ट है. जिससे प्रत्यर्पण, सरेंडर या इस तरह की कानूनी कार्रवाई लंबित रहने तक किसी व्यक्ति को अस्थायी तौर पर गिरफ्तार किया जा सके.
ICT ने 4 लोगों के खिलाफ जारी किया वारंट
इसके अलावा ICT कार्यालय ने जुलाई-अगस्त में हुई ‘सामूहिक हत्या’ के मामलों में जतराबाड़ी पुलिस स्टेशन के इंचार्ज जाकिर हुसैन समेत 4 लोगों की गिरफ्तारी का वारंट जारी किया है. ICT के चीफ प्रॉसीक्यूटर का कहना है कि जाकिर हुसैन समेत ये चारों लोग जतराबाड़ी में की प्रताड़ना के आरोपी हैं. उन्होंने कहा कि जांच एजेंसी ने इन मामलों में चारों आरोपी अधिकारियों के खिलाफ सबूत जुटाए हैं.
अंतरिम सरकार ने शेख हसीना को बताया ‘भगोड़ा’
इससे पहले यूनुस सरकार के कानून सलाहकार प्रो. आसिफ नजरुल ने भी जानकारी दी थी कि उनकी सरकार इंटरपोल से शेख हसीना की गिरफ्तारी और बांग्लादेश वापस लाने के लिए रेड नोटिस जारी करने की मांग करेगी. उन्होंने शेख हसीना को ‘भगोड़ा’ करार देते हुए कहा कि ‘फासीवादी तत्व चाहे दुनिया में किसी भी जगह हो उसे पकड़ा जाएगा और न्याय किया जाएगा. हम गंभीरता से काम करेंगे और हमारी प्राथमिकता है कि वे कहीं भी छिपे हों उन्हें वापस लाया जाएगा.’
5 अगस्त से भारत में हैं शेख हसीना
दरअसल बांग्लादेश में जून के अंत में शुरू हुए आरक्षण विरोधी आंदोलन जुलाई के मध्य में हिंसक हो गए. इन आंदोलनों में सैंकड़ों लोगों की जान चली गई. सैंकड़ों लोगों की मौत से नाराज़ छात्रों का यह आंदोलन अचानक शेख हसीना सरकार के खिलाफ हो गया. 5 अगस्त को आंदोलनकारियों की एक भीड़ राष्ट्रपति भवन की ओर मार्च कर रही थी, इस बीच शेख हसीना आनन-फानन में अपनी जान बचाकर भारत आ गईं. उन्होंने अपने पद से इस्तीफा दिया है या नहीं इसे लेकर काफी सस्पेंस बना हुआ है. वहीं कहा जा रहा था कि बांग्लादेश अगर शेख हसीना के प्रत्यर्पण की मांग करता है तो भारत इससे इनकार कर सकता है, लिहाजा बांग्लादेश की सरकार ने भारत से टकराने के लिए अब इंटरपोल का सहारा लिया है.

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सौजन्य से टीवी9 हिंदी डॉट कॉम

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