UP News: 39 हिस्ट्रीशीटर, 20 गैंगस्टर… UP का बदमाशों वाला गांव, कांस्टेबल की हत्या से सुर्खियों में आया – INA

देश की राजधानी दिल्ली से महज 30 किलोमीटर दूर एक ऐसा गांव है जिसे हिस्ट्रीशीटरों वाला गांव कहा जाता है. इस गांव की आबादी करीब 35000 है लेकिन इस गांव में 39 हिस्ट्रीशीटर और करीब 350 एक्टिव हार्डकोर क्रिमिनल मौजूद हैं. ये क्रिमिनल्स हत्या, लूट, डकैती, चोरी और गोकशी के अपराध में शामिल रहते हैं. इन बदमाशों के खौफ का आलम ये है कि हिस्ट्रीशीटरों वाले इस गांव में जाने से खाकी भी खौफ खाती है.
हिस्ट्रीशीटरों वाला यह गांव है गाजियाबाद के मसूरी थाना इलाके का नाहल गांव है. नहर किनारे बसे इस नाहल गांव का इतिहास अंग्रेजों के जमाने से भी पुराना है. यूं तो नहर किनारे बसा नाहल गांव अपराधियों की शरण स्थली के लिए चर्चित रहा है लेकिन इन दिनों गांव में घटी एक खौफनाक वारदात को लेकर भी यह गांव चर्चा में बना हुआ है. दरअसल एक हिस्ट्रीशीटर को पकड़ने आई पुलिस टीम पर अपराधियों ने फायरिंग कर एक कांस्टेबल की हत्या दी थी.
लूट के मामले में वांटेड हिस्ट्रीशीटर कादिर को पकड़ने नोएडा पुलिस की एक टीम कुछ दिन पहले नाहल गांव पहुंची थी. जैसे ही पुलिस टीम ने खतरनाक हिस्ट्रीशीटर कादिर को पकड़ा तो कादिर को छुड़ाने के लिए उसके परिजनों और दूसरे साथियों ने पुलिस टीम के ऊपर फायरिंग कर दी. फायरिंग में सौरभ देशवाल नाम का एक पुलिस कांस्टेबल मारा गया. कांस्टेबल सौरभ की हत्या के बाद पुलिस बौखला गई और गांव में ताबड़तोड़ छापेमारी कर अपराधियों को पकड़ने में लग गई. सौरभ हत्याकांड में अभी तक चार हिस्ट्रीशीटरों के साथ पुलिस का एनकाउंटर हुआ है जिनके पैर में गोली लगी है और करीब 15 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है.
अतिसंवेदनशील कैटेगरी में है गांव
पुलिस के रिकॉर्ड की बात करें तो नाहल गांव को हमेशा से ही अति संवेदनशील गांव की श्रेणी में रखा जाता है. इसकी वजह यहां के लोगों की अपराधिक प्रवृत्ति बताई गई है. पुलिस का रिकार्ड बताता है कि नाहल गांव में लूट, चोरी, डकैती, हत्या, गैंगस्टर और हिस्ट्रीशीटर समेत सभी संगीन अपराधों के आरोपियों का डेरा है. इस गांव में सबसे ज्यादा गौकशी करने वाले आरोपी रहते हैं. 35000 की आबादी वाले इस गांव में साढे तीन सौ से ज्यादा अपराधी रहते हैं. इनमें 39 हिस्ट्रीशीटर, 20 गैंगस्टर, 70 लुटेरे, 40 गोकश और 100 से ज्यादा चोरों के नाम शामिल हैं.
सुबह सूरज निकलने के साथ ही नाहल गांव के अपराधी अपराध करने में जुट जाते हैं. एक ही गांव में 39 हिस्ट्रीशीटरों की संख्या होना अपने आप में गांव को अति संवेदनशील बताने के लिए काफी है. ये वो हिस्ट्रीशीटर हैं जिनका लंबा चौड़ा आपराधिक रिकॉर्ड है और लूट के जिस मामले में वांटेड क्रिमिनल और हिस्ट्रीशीटर कादिर को पकड़ने के दौरान नाहल में नोएडा पुलिस के जवान सौरव की हत्या हुई, वह भी मसूरी थाने का हिस्ट्रीशीटर ही है. इस गांव के खतरनाक हिस्ट्रीशीटरों की बात करें तो 39 हिस्ट्रीशीटरों में शमशाद उर्फ चंदू सबसे पुराना हिस्ट्रीशीटर है.
कौन हैं अपराध की दुनिया से जुड़े नाम
शमशाद उर्फ चंदू की उम्र करीब 70 साल है. चंदू 70 के दशक से अपराध की दुनिया में शामिल हुआ और हत्या, लूट, डकैती जैसी कई वारदातों में इसका नाम शामिल रहा. चंदू के अलावा नाहल गांव में रहने वाले हिस्ट्रीशीटरों में रहमान, शमशाद, मुनव्वर, राशिद, खालिद, नसीम, हनीफ, अशरफ, फिरोज, रिहान, निजामुद्दीन, रईस, इमरान, रियाजुल, आबिद, मोहसिन, अब्दुल रहमान, परवेज, राशिद, साजिद, फरमान, तय्यब, अकील, आदिल, वसीम भूरा, गुलफाम, जीशान, आसिफ, दानिश, सिराजुद्दीन, कबीर, मुशाहिद, फिरोज, आजाद, जावेद इनु और अयूब जैसे नाम शामिल हैं.
गाजियाबाद के एडिशनल कमिश्नर आलोक प्रियदर्शी का कहना है कि नाहल गांव में कांस्टेबल की हत्या हुई. इस गांव में करीब 39 हिस्ट्रीशीटर और 350 से ज्यादा अपराधी रहते हैं. इनमें बहुत से गोकशी और लूट में शामिल रहते हैं. इन पर लगाम लगाने के लिए पुलिस तेजी से कार्रवाई कर रही है. सभी हिस्ट्रीशीटरों पर नजर रखी जा रही है और अब पुलिस कोशिश करेगी कि गांव को अपराध मुक्त बनाया जाए.
दुकानों-घरों पर ताले, पसरा सन्नाटा
कांस्टेबल सौरभ की हत्या को लेकर पुलिस एक्शन में है. नाहल गांव में जबरदस्त छापेमारी की जा रही है. अब तक 15 लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जिनमें चार हिस्ट्रीशीटर शामिल हैं. इन चारों हिस्ट्रीशीटर के साथ पुलिस की मुठभेड़ हुई और बदमाशों के पैर में गोली लगी है. इस हत्या के बाद गांव में आलम यह है कि 35000 की आबादी वाले गांव में सन्नाटा पसरा हुआ है. लोग घरों में ताले लगाकर फरार हो गए हैं. गलियां सूनी और वीरान है. जिस सड़क पर हर वक्त भीड़ रहती थी, वहां पर सिर्फ सन्नाटा पसरा हुआ है.
गांव की दुकानें पूरी तरह बंद है. अपराधी किस्म के लोगों के साथ ही दूसरे लोग भी गांव छोड़कर चले गए हैं. लोगों में पुलिस का इस कदर खौफ है कि करीब 80% गांव के लोग अपने घरों और दुकानों पर ताला लगाकर पलायन कर चुके हैं. गांव में रहने वाले लोगों का कहना है कि सौरभ की हत्या बेहद दुखद है, ऐसा नहीं होना चाहिए था. जिन लोगों ने अपराध किया है, उनको सजा मिलनी चाहिए लेकिन जो बेगुनाह है पुलिस उनको परेशान ना करें. पुलिस के डर की वजह से गुनहगारों के साथ ही बेगुनाह भी अपने-अपने घरों को छोड़कर चले गए हैं.
जल्दी पैसा कमाने बन रहे क्रिमिनल
इलाके के लोगों का कहना है कि गांव में लोग जल्दी पैसा कमाने की चाहत में अपराधी बन रहे हैं और जिस तरह 350 से ज्यादा अपराधी और 39 हिस्ट्रीशीटर गांव में हैं इस बात का बेहद दुख है. गांव के नाबालिग और नौजवान बच्चे भी अपराध की राह पर चल निकले हैं. उसकी वजह तालीम है. तालीम के आभाव में और जल्दी पैसे कमाने की चाहत में लोग हिस्ट्रीशीटर बन रहे हैं और यह गांव हिस्ट्रीशीटरों वाले गांव के नाम से कुख्यात हो रहा है.
इस गांव के अपराधियों में पुलिस का जरा भी खौफ नहीं. खाकी को अपने जुर्म के पहियों तले रौंदते हुए यह बदमाश इतने बेखौफ है कि जब कभी पुलिस गांव में इन्हें पकड़ने आई है तो यह पुलिस पर फायरिंग करने से भी गुरेज नहीं करते. साल 2012 में बदमाशों ने मसूरी थाने में आग लगा दी थी. इसके अलावा 1 साल पहले भी जब पुलिस की टीम नाहल गांव में अपराधियों को पकड़ने गई तो उनके ऊपर फायरिंग कर हथियार लूट लिए. उन्हें बंधक बना लिया गया था.
दर्जनभर बदमाश गिरफ्त में
मसूरी थाना पुलिस का रिकार्ड बताता है कि पिछले 8 महीने में थाना पुलिस ने मुठभेड़ में जो दर्जन भर बदमाश पकड़े हैं, वह सभी नहर गांव के ही रहने वाले हैं. पिछले कुछ महीनो में मसूरी पुलिस ने कई एनकाउंटर किया. जिसमें नाहल गांव के रहने वाले बदमाश इश्तिकार, फैजान, शाहनवाज, बिलाल, शादाब, रशीद, अब्दुल सलाम, अब्दुल रहमान और नन्नू जैसे खतरनाक बदमाश घायल हुए. इन घायल बदमाशों में हिस्ट्रीशीटर और गोकशी के आरोपी भी शामिल थे. इसके अलावा मसूरी पुलिस ने शांति भंग में भी कई अपराधियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा है.
39 हिस्ट्रीशीटर, 20 गैंगस्टर… UP का बदमाशों वाला गांव, कांस्टेबल की हत्या से सुर्खियों में आया
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