Nation- महासतिया में ही क्यों होता है मेवाड़ राजघराने के लोगों का अंतिम संस्कार?- #NA

राजस्थान के मेवाड़ में जब मेवाड़ राज परिवार के सदस्यों का निधन हो जाता है तो उनका अंतिम संस्कार महासतिया में किया जाता है, जो उदयपुर जिले के आयड क्षेत्र में स्थित है. महासतिया में संगमरमर और पत्थर से कई छतरियां बनी हुई हैं, जो स्मारक के रूप में जानी जाती हैं. महासतिया में जिन जगहों पर अंतिम संस्कार होता है, उन जगहों पर पूर्वजों की याद में छतरियां बनाई जाती हैं. पूर्व में बनी हुई छतरियां जटिल नक्काशी और मेवाड़ की वास्तुकला और विरासत को दिखाती हैं.

जब उदयपुर के पैलेस में अंतिम दर्शन के लिए पार्थिव देह को रखा जाता है, उस समय दरबारियों का एक दल गंगू कुंड स्थित महासतिया पहुंचता है, जहां पर दिवंगत सदस्य के अंतिम संस्कार के लिए जगह का चयन किया जाता है और पालकी उतारने के लिए भी जगह को देखा जाता है. उसके बाद उस जगह को गोमूत्र, गोबर और लाल मिट्टी से लीपा जाता है और साफ-सफाई कर भूमि शुद्धिकरण किया जाता है.

निकाली जाती है डोल यात्रा

खास बात यह है कि इस काम के लिए कमरसी नागदा के जो वंशज हैं, उनको नियुक्त किया गया है, जो इस परंपरा को निभाते हैं. जब डोल यात्रा महासतिया पहुंचती है तो वहां पर परिवार के सबसे करीबी सदस्य, जिसमें भाई या बेटा जो मुखाग्नि देते हैं और जिस जगह पर अंतिम संस्कार किया जाता है, उस जगह पर एक स्मारक के रूप में छतरी बनाई जाती है.

Udaipur Mewar News

अरविंद सिंह मेवाड़ का निधन

महासतिया मेवाड़ राज परिवार का एक पवित्र स्थान है, जहां पर निधन के बाद अंतिम संस्कार की परंपराएं निभाई जाती हैं. इसे महासतिया यानि महान शमशान भूमि कहा जाता है. बता दें कि उदयपुर के राजपरिवार के सदस्य अरविंद सिंह मेवाड़ (81) का बीते दिन निधन हो गया था. वे लंबे समय से बीमार चल रहे थे और सिटी पैलेस के शंभू निवास में उनका इलाज हो रहा था. अरविंद सिंह मेवाड़, महाराणा प्रताप के वंशज थे. उनके पिता भगवत सिंह मेवाड़ और माता सुशीला कुमारी मेवाड़ थीं.

महासतिया में ही क्यों होता है मेवाड़ राजघराने के लोगों का अंतिम संस्कार?


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