देश – आठ साल बाद आए पांच अच्छे दिन, गाजियाबाद और नोएडा में 2017 के बाद सबसे अच्छा हुआ दिसंबर – #INA

Ghaziabad/ Noida News :
बेशक गाजियाबाद और नोएडा के लोग लंबे समय तक गैस चैंबर में रहने को मजबूर हुए, लेकिन एक राहत वाली खबर बता दें कि 2017 के बाद पहली बार दिसंबर में पॉल्यूशन से इतना शुकून मिला है। पिछले पांच दिन लोगों ने गाजियाबाद और नोएडा में खुलकर सांस ली। नवंबर में पॉल्यूशन ने देश की राजधानी से सटे इन दोनों सेटेलाइट सिटीज की नाक में दम कर दिया था। देश की सर्वोच्च अदालत को मामले में सीधे संज्ञान लेना पड़ा तब जाकर दिसंबर में राहत के पांच दिन मयस्सर हो पाए हैं। 2017 के बाद पहली बार गाजियाबाद और नोएडा में दो, तीन, चार, पांच और छह दिसंबर को लगातार पांच दिन तक हवा की गुणवत्ता “मॉडरेट कैटेगरी” में रही है।
आठ वर्षों में यह रहा दिसंबर का हाल
उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (UPPCB) के मुताबिक दिसंबर माह के दौरान 2017 से 2023 तक गाजियाबाद और नोएडा में एक भी दिन हवा की एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) “अच्छा” या “संतोषजनक” नहीं रहा। अच्छे दिनों की बात करें तो नोएडा को 2017 में मात्र दो दिन और 2018, 2019, 2020 और 2021 में मात्र एक- एक दिन ही “मॉडरेट” श्रेणी की हवा मयस्सर हो पाई। हां 2022 में ऐसे चार दिन मिले थे और 2023 में एक भी दिन नोएडा की हवा “मॉडरेट” नहीं रह पाई। UPPCB के आंकड़ों के मुताबिक दिसंबर माह के दौरान गाजियाबाद को 2017, 2020 और 2021 में एक भी दिन एक्यूआई मॉडरेट श्रेणी में नहीं मिला। 2018 और 2019 में मात्र एक, 2022 में पांच और 2023 में मात्र दो दिन एक्यूआई मॉडरेट रहा।
मौसम के साथ ग्रैप- 4 ने किया यह करिश्मा
यूपीपीसीबी नोएडा के क्षेत्रीय अधिकारी उत्सव शर्मा का कहना है कि आठ साल बाद लगातार पांच दिनों तक एक्यूआई बेहतर रहने का करिश्मा मौसम में बदलाव में और ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (GRAP) के कारण संभव हो सका है। हालांकि आंकड़े यह भी बताते हैं कि 22 नवंबर से पराली जलाने से होने वाले प्रदूषण में कमी आनी शुरू हो गई थी। उत्सव शर्मा बताते हैं कि नवंबर की शुरुआत में प्रदूषण बढ़ने पर सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिए थे कि दिल्ली- एनसीआर में ग्रैप- 4 की पाबंदिया लागू रहेंगी, हालांकि, बेहतर परिस्थितियों को देखते हुए देश की सर्वोच्च अदालत ने इन पाबंदियों में राहत देते हुए ग्रैप- 2 तक सीमित करने की अनुमति दे दी। इसके साथ ही सर्वोच्च न्यायालय ने वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM) को यह भी निर्देश दिया कि जिस दिन भी AQI 350 या 400 को पार करता है, चरण 3 या चरण 4 को तुरंत लागू कर दिया जाएगा।
हवा की स्पीड बढ़ते ही छूमंतर होने लगा प्रदूषण
जानकारों का कहना है कि हवा की स्पीड ने दिल्ली- एनसीआर को गैस चैंबर से बाहर निकालने में बहुत मदद की है। यही सबसे बड़ा कारण रहा, जो दिसंबर माह में अब तक एक साथ पांच दिन तक एक्यूआई अच्छा रह सका। एडवोकेट विक्रांत शर्मा का कहना है कि दिल्ली- एनसीआर के हालातों को देखते हुए सुप्रीम कोर्ट का इस मुद्दे पर सख्त बने रहना जरूरी है। ऐसा नहीं होगा तो तमाम एजेंसियां फिर उसी ढर्रे पर आ जाएंगी। विपरीत परिस्थितियों में गाजियाबाद में कचरा जलाए जाने की घटनाएं सामने आती रही हैं। गाजियाबाद में ट्रैफिक जाम भी प्रदूषण का एक बड़ा कारण है।
एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) के मानक
शून्य से 50 : अच्छा (Good)
51 से 100 : संतोषजनक (Satisfactory)
101 से 200 : मध्यम ( Moderate)
201 से 300 : खराब (Poor)
301 से 400 : बहुत खराब ( Very Poor)
401 से 450 : गंभीर ( Severe)
451 से ऊपर : अति गंभीर (Very Severe)
Copyright Disclaimer Under Section 107 of the Copyright Act 1976, allowance is made for “fair use” for purposes such as criticism, comment, news reporting, teaching, scholarship, and research. Fair use is a use permitted by copyright statute that might otherwise be infringing. Non-profit, educational or personal use tips the balance in favor of fair use.
सौजन्य से ट्रिक सिटी टुडे डॉट कॉम
Source link