देश – दिल्ली शराब केस: जेल से जमानत तक… 10 महीनों में केजरीवाल केस में क्या-क्या हुआ?- #INA

दिल्ली शराब घोटाला और अरविंद केजरीवाल

दिल्ली आबकारी नीति घोटाला मामले में सुप्रीम कोर्ट की ओर से शुक्रवार को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को बड़ी राहत मिली है. कोर्ट ने उन्हें 10 लाख रुपये के मुचलके और 2 जमानत राशियों पर जमानत दे दी. आम आदमी पार्टी के संयोजक केजरीवाल को इस मामले में पिछले साल अक्टूबर में पहली बार पूछताछ के लिए समन भेजा गया, फिर कई समन भेजे गए. आखिरकार मार्च में उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया.

आबकारी नीति से जुड़े मामले में कई उतार-चढ़ाव आए. सुप्रीम कोर्ट ने केजरीवाल को लोकसभा चुनाव के दौरान चुनाव प्रचार के लिए जमानत पर रिहा किया था. जांच एजेंसी की ओर से लगातार उनकी रिहाई का विरोध किया जा रहा था, लेकिन देश की सबसे बड़ी अदालत से उन्हें जमानत मिल गई.

दिल्ली की चर्चित आबकारी नीति से जुड़े मामले की टाइमलाइन पर एक नजर डालते हैं…

  1. नवंबर 2021- दिल्ली की AAP सरकार नई आबकारी नीति लाई.
  2. जुलाई 2022- LG वीके सक्सेना ने नीति निर्माण और कार्यान्वयन में कथित अनियमितताओं की CBI जांच की सिफारिश की.
  3. अगस्त 2022- CBI और ED दोनों ने इस मामले में केस दर्ज किए.
  4. सितंबर 2022- दिल्ली सरकार ने आबकारी नीति को रद्द करने का ऐलान किया.
  5. 30 अक्टूबर, 2023- ED ने मनी लॉन्ड्रिंग केस में CM केजरीवाल को पहला समन भेजा.
  6. 2 नवंबर, 2023- केजरीवाल ED के सामने पेश नहीं हुए. हालांकि वह मध्य प्रदेश के सिंगरौली में चुनावी जनसभा को संबोधित करने पहुंच गए.
  7. दिसंबर, 2023- ED ने केजरीवाल को 2 और समन भेजा. 21 दिसंबर और 3 जनवरी को उनको पूछताछ के लिए बुलाया गया. लेकिन इस बार भी वह पेश नहीं हुए.
  8. जनवरी, 2024- ED ने केजरीवाल को फिर से समन भेजा. 18 जनवरी और 2 फरवरी को पूछताछ के लिए पेश होने को कहा.
  9. 3 फरवरी, 2024- केजरीवाल के खिलाफ ED ने मजिस्ट्रियल कोर्ट की ओर रुख किया.
  10. 7 फरवरी, 2024- ED की शिकायत पर कोर्ट ने केजरीवाल को समन भेजा.
  11. फरवरी, 2024- जांच एजेंसी ED ने मुख्यमंत्री केजरीवाल को 19 फरवरी, 26 फरवरी और 4 मार्च को फिर से समन भेजा.
  12. फरवरी, 2024- दिल्ली की स्थानीय अदालत ने केजरीवाल को व्यक्तिगत उपस्थिति से छूट दे दी.
  13. फरवरी, 2024- ED के सातवें समन पर केजरीवाल पेश नहीं हुए. AAP का दावा किया कि मामला कोर्ट में है और ED को समन की वैधता पर कोर्ट को जवाब देना है.
  14. 7 मार्च, 2024- मजिस्ट्रियल कोर्ट ने ED की शिकायत पर केजरीवाल को फिर से समन भेज दिया.
  15. मार्च, 2024- केजरीवाल ने ED के समन के खिलाफ दिल्ली हाई कोर्ट का रुख किया. कोर्ट से कहा कि वह ED के सामने पेश नहीं होंगे क्योंकि उन्हें गिरफ्तार किया जा सकता है.
  16. 21 मार्च, 2024- हाई कोर्ट ने केजरीवाल को दंडात्मक कार्रवाई से कोई भी सुरक्षा देने से इनकार कर दिया. वह सुप्रीम कोर्ट पहुंच गए.
  17. 21 मार्च, 2024- ED ने सीएम केजरीवाल को गिरफ्तार किया. केजरीवाल ने हाई कोर्ट में गिरफ्तारी को चुनौती दी.
  18. 9 अप्रैल, 2024-हाई कोर्ट ने केजरीवाल की याचिका को खारिज किया.
  19. 10 अप्रैल, 2024- सीएम केजरीवाल ने गिरफ्तारी को लेकर सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी.
  20. 15 अप्रैल, 2024- सुप्रीम कोर्ट ने मामले में 24 अप्रैल तक ED से जवाब मांगा.
  21. 24 अप्रैल, 2024- ED ने कोर्ट को बताया कि केजरीवाल के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का केस चल रहा है.
  22. 29 अप्रैल, 2024- सुप्रीम कोर्ट ने बयान दर्ज कराने के लिए बार-बार समन भेजने के बावजूद ED के सामने केजरीवाल के पेश न होने पर सवाल उठाया. साथ ही यह भी पूछा कि क्या वह अपना पक्ष दर्ज न कराने के आधार पर गिरफ्तारी को चुनौती दे सकते हैं.
  23. 10 मई, 2024- सुप्रीम कोर्ट ने केजरीवाल को चुनाव प्रचार के लिए 1 जून तक अंतरिम जमानत दी.
  24. 1 जून, 2024- चुनाव प्रचार खत्म होने के बाद सीएम केजरीवाल ने सरेंडर कर दिया और फिर तिहाड़ जेल पहुंच गए.
  25. 5 जून, 2024- केजरीवाल की याचिका पर कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी.
  26. 20 जून, 2024- दिल्ली की अदालत ने केजरीवाल को जमानत दी.
  27. 21 जून, 2024- ईडी ने केजरीवाल की जमानत का विरोध किया और हाई कोर्ट का रुख किया. हाई कोर्ट ने केजरीवाल की जमानत पर रोक लगा दी.
  28. 26 जून, 2024- भ्रष्टाचार के मामले में CBI ने केजरीवाल को गिरफ्तार कर लिया.
  29. 5 सितंबर: सुप्रीम कोर्ट ने केजरीवाल की गिरफ्तारी और हाई कोर्ट की ओर से जमानत देने से इनकार करने के फैसले से जुड़ी जमानत याचिकाओं पर अपना फैसला सुरक्षित रखा.
  30. 13 सितंबर- सुप्रीम कोर्ट ने लंबी सुनवाई के बाद 10 लाख का बॉन्ड जमा कराने के आदेश के साथ ही मुख्यमंत्री केजरीवाल को जमानत दे दी.

.

Copyright Disclaimer :- Under Section 107 of the Copyright Act 1976, allowance is made for “fair use” for purposes such as criticism, comment, news reporting, teaching, scholarship, and research. Fair use is a use permitted by copyright statute that might otherwise be infringing., educational or personal use tips the balance in favor of fair use.

यह पोस्ट सबसे पहले टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम पर प्रकाशित हुआ , हमने टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम के सोंजन्य से आरएसएस फीड से इसको रिपब्लिश करा है, साथ में टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम का सोर्स लिंक दिया जा रहा है आप चाहें तो सोर्स लिंक से भी आर्टिकल पढ़ सकतें हैं
The post appeared first on टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम Source link

Back to top button