खबर शहर , अनूठी रामलीला: तीन घंटे में पूरी रामकथा… महिलाओं ने निभाए सभी किरदार, अपने अभिनय से दर्शकों का मन मोहा – INA

शाहजहांपुर के कृभको नगर में एक बार फिर अनूठी रामलीला ने दर्शकों का मन मोह लिया। तीन घंटे में रामकथा के सभी प्रसंगों का मंचन किया गया। खास बात ये रही कि इसमें सारे किरदार महिलाओं ने ही निभाए। इसके लिए उन्होंने 45 दिवसीय रंगमंचीय कार्यशाला में पूर्वाभ्यास किया था।

मंचन का शुभारंभ मुख्य अतिथि कृभको प्रबंध निदेशक रवि कुमार चोपड़ा और यूनिट प्रमुख वीके सिंह व सुमन चोपड़ा और किरन सिंह ने किया। 31 महिला कलाकारों ने रामकथा के प्रमुख प्रसंगों जैसे राम जन्म, शिक्षा-दीक्षा, ताड़का वध, अहिल्या उद्धार, सीता स्वयंवर, कैकई-दशरथ संवाद, वन गमन, केवट प्रसंग, भरत चित्रकूट में, सीता हरण, अशोक वाटिका, मेघनाथ वध, रावण वध, राजतिलक की लीलाओं का भावपूर्ण मंचन किया।

प्रगति महिला क्लब की अध्यक्ष और रामलीला संयोजिका किरन सिंह ने बताया कि साल 2018 में इस अनूठी रामलीला की परिकल्पना तत्कालीन अध्यक्ष सुमन चोपड़ा ने की थी, जिसका निर्देशन लगातार पांचवीं बार राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय, त्रिपुरा से प्रशिक्षित जिले के वरिष्ठ रंगकर्मी आलोक सक्सेना ने किया। नाटक में महानगरों में होने वाली आधुनिक ध्वनि व प्रकाश शैली का प्रयोग किया गया।


इन्होंने जीवंत किए रामायण के पात्र

श्रीराम का किरदार कविता झा, सीता राजकन्या का हरमीत कौर और सीता वनगामिनी के रोल को रोहिणी त्रिवेदी ने जीवंत किया। लक्ष्मण के रूप में लक्ष्मी रेड्डी दिखीं। भरत की भूमिका चंचल शर्मा, शत्रुघ्न व इंद्र का किरदार वंदना श्रीवास्तव ने निभाया। दशरथ व सुमंत-वर्णिका सक्सेना, कौशल्या-आशा तिवारी, सुमित्रा व काकी-प्रमिला दीक्षित, कैकई-अर्चना तिवारी, मंथरा-लता बंसल, राजा जनक, केवट व मेघनाथ-निशा सिंह, सुनयना व सुलोचना-ऊषा यादव, गुरु वशिष्ठ व तापसवेशी रावण-नूतन सिंह, विश्वामित्र-संध्या चौहान, महर्षि वाल्मीकि, निषादराज व त्रिजटा मां-आशा सिंह बनीं। 

परशुराम व गौतम ऋषि-प्रियंका तायल, रावण-कनू गौड़, मंदोदरी-नीतू झा, अहल्या व उर्मिला-प्रतीक्षा शर्मा, ताड़का-बबिता दास, हनुमान जी-अभिज्ञान सिंह, मां गौरी-ज्योति देव, श्रवण कुमार व ऋषि कुमार-आदित्य, श्रवण के पिता व केवटी-सावी, श्रवण की माता व पक्षी-दिव्या, ऋषि कुमार व बंदीजन-कार्तिकेय, स्वर्ण मृग-ऋषि यादव, मनई-ज्ञानेंद्र, सैनिक व बंदीजन-अदविक, सुषेण वैद्य व बंदीजन-मानस, पक्षी नर्तकी व सैनिक-हेमलता, नर्तकी व सैनिक-आरती, नर्तकी व सैनिक-पूनम, नर्तकी व सैनिक-आराध्या ने अपने प्रभावी अभिनय से दर्शकों का मन मोह लिया।


Credit By Amar Ujala

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