दुनियां – जांच से अमेरिका संतुष्ट, जानकारी को गंभीरता से लिया…पन्नू मामले पर बोला भारत – #INA
खालिस्तानी आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू मामले की जांच पर भारत ने कहा है कि अमेरिका द्वारा दी गई जानकारी को गंभीरता से लिया गया है. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने इस बात की जानकारी दी. जायसवाल ने कहा कि इस साजिश में कथित तौर पर शामिल व्यक्ति अब भारत सरकार का कर्मचारी नहीं है. इस बात को अमेरिका ने भी माना है. उन्होंने कहा कि अमेरिका भारत की जांच से संतुष्ट नजर आ रहा है.
हाल में भारतीय अधिकारियों ने वाशिंगटन में विदेश विभाग और न्याय विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक की. समिति के दो सदस्य अमेरिका गए और अधिकारियों के साथ बैठक की. दरअसल, पन्नू की हत्या की साजिश के आरोपों के बाद भारत ने अमेरिका द्वारा दी गई जानकारी की जांच के लिए एक उच्च स्तरीय जांच कमेटी नियुक्त की थी.
भारत की जांच से संतुष्ट है अमेरिका
हाल ही में अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की साजिश के मामले की जांच को लेकर कहा था कि हम सहयोग की सराहना करते हैं और हम भारत की जांच से संतुष्ट हैं. इस साजिश से जुड़ी जांच पर अपडेट करने के लिए हम भारत की प्रशंसा करते हैं क्योंकि हम भी उन्हें अपनी जांच पर अपडेट करते हैं. उन्होंने कहा कि जस्टिस डिपार्टमेंट के अभियोग में नामित अधिकारी अब भारत सरकार का कर्मचारी नहीं है.
कौन है खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू?
गुरपतवंत सिंह पन्नू सिख फॉर जस्टिस की अगुवाई करता है. भारत ने उसे मोस्ट वांटेड आतंकी घोषित किया हुआ है. पन्नू अमेरिका के न्यूयॉर्क में रहता है. उसके पास कनाडा की भी नागरिकता है. मोदी सरकार ने खालिस्तानी संगठन सिख फॉर जस्टिस पर शिकंजा कस दिया है. मोदी सरकार ने सिख फॉर जस्टिस पर पांच साल के लिए फिर प्रतिबंध बढ़ा दिया. यह कार्रवाई UAPA के तहत की गई.
एनआईए ने सिख फॉर जस्टिस और अमेरिकी नागरिक गुरपतवंत सिंह पन्नू के खिलाफ आधा दर्जन से ज्यादा मामले दर्ज कर रखे हैं. पिछले साल जांच एजेंसी ने पंजाब और चंडीगढ़ में उनकी संपत्तियों को भी अपने कब्जे में ले लिया था. पन्नू ने हाल ही में अपने वीडियो में जम्मू-कश्मीर, असम, मणिपुर और नागालैंड में पूर्ण आजादी आंदोलन चलाने की धमकी दी थी जैसा की पंजाब में करने का प्रयास है.
अमेरिका के जस्टिस डिपार्टमेंट का क्या आरोप?
पन्नू की हत्या की साजिश को लेकर अमेरिका के जस्टिस डिपार्टमेंट का आरोप है कि भारतीय अधिकारी निखिल गुप्ता ने 9 जून के आसपास पन्नू की हत्या के लिए एक डॉलर यानी 83 लाख रुपए से ज्यादा की सुपारी दी थी. अमेरिकी अधिकारियों ने दावा किया है निखिल ने आरोपों को स्वीकार भी कर लिया है. अमेरिका ने इस साजिश के आरोप में चार्जशीट दायर की है. इसमें आतंकी पन्नू को अलगाववादी नेता बताया गया है. पन्नू की हत्या की साजिश के आरोपों में निखिल गुप्ता को 30 जून को गिरफ्तार किया गया था.
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सौजन्य से टीवी9 हिंदी डॉट कॉम
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