देश- इंसाफ या कुर्सी की चिंता? डॉक्टरों पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का इमोशनल कार्ड भी फेल- #NA

सीएम आवास पर डॉक्टरों के इंतजार में खड़ी पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी

पश्चिम बंगाल में मरीज इलाज के अभाव में कराह रहे हैं लेकिन डॉक्टरों और ममता सरकार के बीच गतिरोध खत्म होने का नाम नहीं ले रहा. शनिवार को अचानक 35 दिनों से हड़ताल पर बैठे डॉक्टरों से मिलने के लिए ममता बनर्जी धरनास्थल यानी राज्य स्वास्थ्य भवन पहुंचीं. इस दौरान ममता ने एक बार फिर इमोशनल कार्ड खेल दिया. सीएम ने डॉक्टरों को बताया कि वो 34 दिन से सोई नहीं हैं. उन्हें मुख्यमंत्री पद का लालच नहीं है. पद होना बड़ी बात नहीं है बल्कि इंसान होना बड़ी बात है.

डॉक्टरों से करीब 7 मिनट तक अपने मन की बात की और सभी मांगों पर विचार के भरोसे के साथ धरना खत्म करने को कहा. इसके बाद डॉक्टरों को अपने घर पर बातचीत के लिए बुलाया, डॉक्टर सीएम आवास गए भी, लेकिन बैठक की लाइव स्ट्रीमिंग की बात को लेकर अड़े रहे. अंत में ममता की बातचीत की ये दूसरी कोशिश भी असफल रही.

मुख्यमंत्री ने डॉक्टरों से कहा कि मुझे पद का लालच नहीं है. मैं इसलिए यहां आई हूं क्योंकि मैं आपके आंदोलन को सही मानती हूं. मैं खुद छात्र आंदोलन से निकली हूं. छात्र आंदोलन के दौरान मैंने भी बहुत कुछ सहन किया है. मैं जानती हूं मेरा पद बड़ी बात नहीं है. इंसान होना बड़ी बात है.

सीएम बोलीं- 34 दिन से नहीं सोई

सीएम ने डॉक्टरों से कहा कि कल (शुक्रवार) रात भर बारिश हुई है. आप लोग तकलीफ में थे मैं भी पूरी रात सो नहीं पाई हूं. मुझे भी तकलीफ हुई है. मुझे मानसिक तकलीफ हो रही है. आज 34 दिन हो गए हैं और मैं भी रात को सो नहीं पाई हूं. आप जब रास्ते पर हैं आपकी पहरेदारी के लिए मुझे जागना पड़ा है.

सभी मांगों पर विचार का आश्वासन

ममता ने आगे कहा कि इतनी बारिश और तूफान में, प्राकृतिक आपदा में आपने बहुत तकलीफ उठाई है. बस अब और तकलीफ मत उठाइए. अगर आप अपने काम पर लौटना चाहते हैं. मैं आपको यकीन दिला रही हूं आपकी जो भी मांग है, बातचीत कर के मैं स्टडी करूंगी. मैं अधिकारियों के साथ बात करूंगी. मैं अकेले सरकार नहीं चलाती हूं. मेरे साथ मुख्य सचिव, गृह सचिव और डीजीपी भी होते हैं. उनके साथ चर्चा करूंगी. अगर कोई दोषी है तो उसे जरूर सजा मिलेगी.

‘उन्हें न पद की चिंता न अपनी परवाह’

ममता ने डॉक्टरों से अपनी इमोशनल अपील में कई अहम बातें कहीं. ममता ने कहा कि वो बिना सिक्योरिटी के उनके बीच पहुंची हैं. न उन्हें पद की चिंता है और न ही अपनी परवाह. शायद ममता ने इसी वजह से डॉक्टरों को कहा कि वो आज उनके बीच बतौर सीएम नहीं बल्कि बतौर दीदी आई हैं और बार-बार दोहराया कि उन्हें अपनी नहीं बल्कि चिंता है तो बस कष्टकारी धूप, तूफान और बारिश के बीच हड़ताल पर बैठे डॉक्टरों की.

इसी चिंता की वजह से वो पिछले 34 दिन से सोई नहीं हैं. ममता ने ऐलान किया कि जितने भी अस्पताल रोगी कल्याण समितियों के तहत तैनात प्रिंसिपल हैं उनकी अध्यक्षता वो खुद करेंगी. आखिर में ममता ने डॉक्टरों को ये भी वादा किया कि वो उनकी सभी मांगों को लेकर अधिकारियों से विचार करेंगी.

डॉक्टर बोले- फैसला ऑन द स्पॉट नहीं कर सकते

एक तरफ ममता कह रही हैं कि उन्हें पद का लालच नहीं है बस हड़ताल पर बैठे डॉक्टरों की चिंता हैं. दूसरी तरफ डॉक्टरों ने साफ कर दिया है कि वो भावनाओं में दिए गए ममता के आश्वासन पर ऑन द स्पॉट फैसला नहीं कर सकते. वो अपना वक्त लेंगे. ममता ने जो वादे किए हैं उन पर विचार के बाद ही अपना फैसला लेंगे. डॉक्टरों की 6 मांगें हैं- जिसमें जल्द जांच पूरी कराकर इंसाफ दिलाने, स्वास्थ्य सचिव और कोलकाता पुलिस कमिश्नर को हटाने के अलावा अस्पताल और स्वास्थ्य केंद्रों में कड़ी सुरक्षा की बात शामिल है.

वहीं, बीजेपी लगातार ममता सरकार को घेर रही है. ममता पर आंदोलन को दबाने के आरोप लगा रही है. साथ ही ममता के आज धरना स्थल जाने को नाटक बता रही है. बीजेपी सांसद समिक भट्टाचार्य ने कहा कि सीएम आज धरना मंच पर पहुंच गईं. बात करनी है तो सामने ही स्वास्थ्य भवन है. मुख्यमंत्री खुद स्वास्थ्य मंत्री हैं. स्वास्थ्य भवन में बुला लीजिए. उसकी मांग सुन लीजिए.

ऑडियो क्लिप को लेकर नया विवाद

12 सितंबर को कार्यक्रम स्थल पर एक संदिग्ध बैग मिला. हालांकि बैग जांच में कुछ नहीं निकला, लेकिन लोगों के मन में सवाल उठे कि आखिर ये बैग किसने और क्यों धरना स्थल पर रखा था. बैग का रहस्य अभी सुलझा भी नहीं कि टीएमसी नेता कुणाल घोष ने एक ऑडियो क्लिप जारी कर दिया. कुणाल घोष के मुताबिक दो लेफ्ट नेताओं के बीच बातचीत के इस ऑडियो में धरना स्थल पर धमाके की बात हो रही है. इस बातचीत के आधार पर पुलिस ने डेमोक्रेटिक यूथ फेडरेशन ऑफ इंडिया के नेता कलातन दासगुप्ता को गिरफ्तार भी किया है.

अब सवाल ये उठ रहे हैं क्या डॉक्टर्स के खिलाफ कोई साजिश रची जा रही है? क्या डॉक्टरों पर दबाव डालकर प्रोटेस्ट खत्म करने की कोशिश हो रही है? क्या ममता ने इमोशनल कार्ड इसलिए खेला ताकि वो अपनी कुर्सी बचा सकें?

(टीवी9 ब्यूरो रिपोर्ट)

Copyright Disclaimer :- Under Section 107 of the Copyright Act 1976, allowance is made for “fair use” for purposes such as criticism, comment, news reporting, teaching, scholarship, and research. Fair use is a use permitted by copyright statute that might otherwise be infringing., educational or personal use tips the balance in favor of fair use.

यह पोस्ट सबसे पहले टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम पर प्रकाशित हुआ , हमने टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम के सोंजन्य से आरएसएस फीड से इसको रिपब्लिश करा है, साथ में टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम का सोर्स लिंक दिया जा रहा है आप चाहें तो सोर्स लिंक से भी आर्टिकल पढ़ सकतें हैं
The post appeared first on टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम Source link

Back to top button