देश – महाराष्ट्र में क्या है 31 सीटों का तिलिस्म, NDA और INDIA गठबंधनों का क्यों टिका है इस पर दारोमदार – #INA
हाल ही में हुए लोकसभा चुनावों में महाराष्ट्र की 48 लोकसभा सीटों में से विपक्षी महाविकास अघाड़ी (MVA) ने 30 सीटें जीती थीं, जबकि सत्तारूढ़ महायुति गठबंधन यानी NDA ने 17 और एक सीट निर्दलीय ने जीती थी। राज्य में कुल 288 विधानसभा सीटें हैं। लोकसभा चुनावों के आंकड़ों का विश्लेषण करने से पता चलता है कि 31 विधानसभा सीटों में हार-जीत का अंतर 5000 से कम वोट रहे हैं। इनमें से 16 विधानसभा सीटों में महाविकास अघाड़ी के उम्मीदवार आगे थे तो 15 असेंबली इलाकों में सत्ताधारी महायुति के उम्मीदवार आगे थे।
चुनावी आंकड़ों और वोटिंग डेटा के विश्लेषण से यह बात भी सामने आती है कि सभी 288 विधानसभा क्षेत्रों में से 158 में MVA के उम्मीदवारों ने बढ़त बनाई थी, जबकि 145 विधानसभा क्षेत्रों में महायुति के उम्मीदवारों ने लीड ली थी। दोनों गठबंधनों के बीच 33 सीटों का अंतर है। जिन विधानसभा इलाकों में 5000 से कम वोट के मार्जिन से उम्मीदवारों ने लीड ली थी, उनमें अंधेरी वेस्ट, मलाड, पश्चिम मुंबई, पालघर के दहानू और बीड के माजलगांव भी शामिल हैं।
31 पर टिका दारोमदार
यानि ये 31 सीटें ऐसी हैं जिनके परिणाम हल्के से सियासी बयार से बदल सकते हैं। हालांकि लोकसभा और विधानसभा चुनावों में मतदान पैटर्न और चुनावी मुद्दे अलग-अलग होते हैं। बावजूद इसके ये आंकड़े इस बात की ओर इशारा करते हैं कि राज्य में दोनों गठबंधनों के बीच मुकाबला कांटे का है। चूंकि ये चुनाव छह महीने के अंदर हुए हैं और राज्य की राजनीतिक परिस्थितियां कमोबेश वही हैं, इसलिए माना जा रहा है कि 5000 से कम वोट मार्जिन वाली 31 असेंबली सीटों पर ही दोनों गठबंधनों की सत्ता में वापसी का दारोमदार टिका है। इन 31 सीटों पर जिस भी गठबंधन की हवा चली और उसके पक्ष में गए, वह सत्ता में वापसी कर सकता है।
कहां-कहां पिछड़ी महायुति
इंडियन एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट के मुताबिक, इन 31 सीटों का विवरण देखें तो इनमें से भाजपा ने 9, शिवसेना ने 5 और एनसीपी ने एक सीट पर लीड की है, जबकि विपक्षी खेमे की तरफ से कांग्रेस ने 8, शरद पवार की एनसीपी ने 2 और उद्धव ठाकरे की शिवसेना ने 6 सीटों पर लीड की है। सबसे ज्यादा बीजेपी 11 सीटों पर पीछे रही है। पश्चिमी महाराष्ट्र, विदर्भ और मराठवाड़ा क्षेत्र में महायुति पिछड़ी है। पश्चिमी महाराष्ट्र में महायुति ने 70 में से 30 सीटों पर लीड ली है, जबकि विदर्भ में 62 सीटों में से सिर्फ 19 और मराठवाड़ा इलाके की 46 सीटों में से सिर्फ 11 पर लीड ली है। उत्तरी महाराष्ट्र, ठाणे और कोंकण इलाकों में महायुति का प्रदर्शन बेहतर रहा है।
लोकसभा जैसे ही वोटिंग पैटर्न अगर विधानसभा चुनावों में दोहराए गए तो सत्ताधारी गठबंधन को मुश्किल हो सकती है। 2022 और 2023 में शिवसेना और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) में विभाजन के बाद राज्य का राजनीतिक परिदृश्य बदल चुका है। विपक्षी एमवीए में कांग्रेस, शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) और एनसीपी (शरदचंद्र पवार) शामिल हैं जबकि सत्तारुढ़ महायुति में भाजपा के साथ एकनाथ शिंदे की शिवसेना और अजित पवार की एनसीपी है।
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