यूपी – UP: कांग्रेस ने तनुज पुनिया पर खेला ये दांव… इस रणनीति का लिटमस टेस्ट; सांसद पर टिकीं सबकी निगाहें – INA

कांग्रेस ने बाराबंकी सांसद तनुज पुनिया को अनुसूचित जाति विभाग का प्रदेश अध्यक्ष बनाकर दलित युवाओं को जोड़ने की नई रणनीति अपनाई है। पार्टी की तैयारी है कि दलित उत्पीड़न की घटनाओं पर नए सिरे से प्रतिरोध की संस्कृति विकसित की जाए। 

इसके लिए ग्राम पंचायत स्तर पर दलितों के बीच विजिलेंस टीम बनाने की तैयारी है। ताकि उत्पीड़न की घटना तत्काल प्रदेश मुख्यालय पहुंच सके। प्रदेश में दलित, पिछड़ा और अल्पसंख्यक गठजोड़ बनाने के लिए कांग्रेस निरंतर प्रयास कर रही है। 

लोकसभा चुनाव में कुछ हद तक कामयाबी भी मिली। इससे उत्साहित कांग्रेस 2027 विधानसभा चुनाव की तैयारी में जुट गई है। अब तक अनुसूचित विभाग के प्रदेश अध्यक्ष रहे सुशील पासी को राष्ट्रीय सचिव बनाकर बिहार के सह प्रभारी की जिम्मेदारी सौंपी गई है। 

पार्टी ने पासी बिरादरी को साधने के बाद हरिजन बिरादरी को जोड़ने की रणनीति तैयारी की। कई चेहरों पर विचार विमर्श करने के बाद पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की निगाह बाराबंकी सांसद तनुज पुनिया पर टिकी। तनुज के जरिए जहां उनकी बिरादरी के बीच सकारात्मक संदेश देने का प्रयास है तो युवा होने की वजह से दलित वर्ग की अन्य जातियों के युवाओं के बीच उनके आकर्षण से सियासी रंग चटख होगा। 


तीसरी खास बात यह है कि सांसद होने की वजह से वह प्रदेश में होने वाली दलित उत्पीड़न की घटनाओं को लोकसभा में उठा सकेंगे। उसके निराकरण के लिए अफसरों पर दबाव बना सकेंगे। यह भी उम्मीद है कि सांसद होने की वजह से वह ज्यादा से ज्यादा युवाओं को जोड़ने में कामयाब होंगे। फिलहाल इस प्रयोग का लिटमस टेस्ट 2027 है।


हर गांव की घटना प्रदेश मुख्यालय पहुंचाने की तैयारी
प्रदेश अध्यक्ष मनोनीत होने के बाद सांसद तनुज पुनिया ने कहा कि वह चाहते हैं कि किसी भी गांव में दलित उत्पीड़न की घटना हो तो उसकी सूचना तत्काल प्रदेश मुख्यालय पहुंचे। क्योंकि तमाम घटनाएं किसी न किसी कारणवश स्थानीय स्तर पर दबा दी जाती हैं। 

 


ऐसे में अनुसूचित जाति विभाग के जरिए हर गांव में एक विजिलेंस टीम बनाई जाएगी। यह उत्पीड़न की घटनाओं से वाकिफ कराएगी। घटना की स्थिति के अनुसार प्रदेश मुख्यालय से तय टीम बनाकर मौके पर भेजा जाएगा। घटनाक्रम की अपने स्तर पर जांच की जाएगी और उसकी रिपोर्ट सरकार को भेजने के साथ ही सार्वजनिक भी की जाएगी। 


इससे जहां लोगों में पार्टी के प्रति भरोसा बढ़ेगा तो दूसरी तरफ उत्पीड़न की घटनाओं में कमी आएगी। उन्होंने बताया कि बाबा साहब डा. भीमराव अंबेडकर के विचारों को लोगों तक पहुंचाने के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। संविधान में दिए गए अधिकारों और कर्तव्यों से भी युवाओं को वाकिफ कराया जाएगा।

 


निभा चुके हैं कई जिम्मेदारी
अनुसूचित जाति विभाग के नव मनोनीति प्रदेश अध्यक्ष तनुज पुनिया को संगठन संचालन का अनुभव है। वह अखिल भारतीय प्रशासनिक सेवा से सियासत में कदम रखने वाले पूर्व राज्यसभा सदस्य पीएल पुनिया के बेटे हैं। आईआईटी की डिग्री हासिल करने के बाद वह पिता की सियासी विरासत को संभावने के लिए मैदान में उतरे। विधानसभा में पराजय का सामना करने के बाद 2024 में बाराबंकी से लोकसभा चुनाव मैदान में उतरे और सफल रहे। वह कांग्रेस में प्रवक्ता, मध्य क्षेत्र में अनुसूचित जाति विभाग के अध्यक्ष भी रह चुके हैं। 


Credit By Amar Ujala

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