सेहत – कंट्रोल ऑफ कंट्रोल हो रहा है स्टोन्स का दर्द, सुबह-सुबह चबाना शुरू हुआ ये 5 बैक्टीरिया, यूरिक एसिड का बजन हो सकता है बैंड
5 पत्ते यूरिक एसिड को कम करते हैं: लाइफस्टाइल में गणित के कारण आजकल युवा उम्र से लेकर लोग कई तरह के शारीरिक अध्ययन से जुड़े होते हैं। कुछ युवाओं में कम उम्र से ही जोड़ों में दर्द होना शुरू हो जाता है। कुछ तो गंभीर मौखिक के दर्द से परेशान रहते हैं। वास्तव में, हड्डियों या हड्डियों के जोड़ों में दर्द तब होता है जब खून में यूरिक एसिड की मात्रा बढ़ जाती है। आम तौर पर एक विशेषज्ञ व्यक्ति में साढ़े तीन से साढ़े सात बजे तक यूरिक एसिड होता है लेकिन जब इसकी मात्रा बढ़ती है तो जोड़ों में दर्द होने लगता है।
यूरिक एसिड प्यूरिन से बनता है। जब प्रोटीन शरीर में टूटता है तब इसका बायोप्रोडक्ट के रूप में प्यूरिन बनता है। प्यूरिन के कारण ही यूरिक एसिड बनता है। यूरिक एसिड जोड़ों के बीच में जमा होने से वहां कार्टिलेज खराब होने लगता है। हम यहां कुछ सर्वसुलभ औषधीय गुण वाली रेस्टॉरेंट के बारे में बता रहे हैं कि रॉबस्कैन से शरीर में यूरिक एसिड कम हो सकता है और इस कारण घुघुनो के दर्द में कमी हो सकती है।
यूरिक एसिड से कम करें इनस्टॉल
1. मेथी की खेती-टीओआई की खबर के मुताबिक मेथी में यूरिक एसिड को कम करने की क्षमता होती है। मेथी के पत्तों में कई तरह के एंटीऑक्सीडेंट होते हैं जो शरीर में सूजन को कम करते हैं। सूजन का कारण सूजन है। इसलिए अगर आप मेथी की बाइट को चबाएंगे या मेथी के दानों को पानी में घोलकर पिएंगे तो इससे यूरिक एसिड कम होगा।
2.धनिया की प्रेमिका-धनिया के जिंक में कई तरह के एंटीऑक्सीडेंट होते हैं और इसमें एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण भी होता है। यह सभी रक्त संयोजन से यूरिक एसिड को कम करता है जिसके कारण पेट के दर्द से बहुत राहत मिल सकती है।
3. गिलोय की पत्तियां-गिलोय को गुरु भी कहा जाता है. कहीं-कहीं इसे अमरबेल भी कहा जाता है। वैसे तो अमरबेल में कई तरह के औषधीय गुण होते हैं लेकिन सिरदर्द के लिए यह रामबाण है। गुरु की खुराक में इम्यूनोमॉड्यूलेटरी और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होता है। अमरबेल की भर्ती से लेकर इसके तने इसकी जड़ सब काम की चीज है। अमरबेल के आंतरायिक भोजन से इम्युनिटी बूस्ट होता है। यह ऑवरऑल स्वास्थ्य के लिए बेहतरीन औषधि है।
4. पुनर्नवा की प्रेमिकाएँ-पुनर्नवा की नाव कुछ मोटी होती है। इसमें फूल भी शामिल हैं. रीबोनवा किडनी और लीवर को साफ करने में बहुत ही चमत्कारी घटना होती है। आयुर्वेद के अनुसार पुनर्नवा की बहाली को पीसकर अगर जोड़ों में खुराक लिया जाए तो इससे दांतों के दर्द से राहत मिलती है।
5. पान का पत्ता- आयुर्वेद में यह भी दावा किया गया है कि पान के पत्तों से यूरिक एसिड नियंत्रित होता है। पान के पत्तों में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होता है जो सूजन को खत्म कर देता है। अगर सुबह में सिर्फ पान के पत्ते को ही चबाया जाए तो दिन भर यूरिक एसिड कंट्रोल रहता है। इस कारण से सिरदर्द से राहत मिल सकती है।
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पहले प्रकाशित : 6 सितंबर, 2024, 14:33 IST
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