दुनियां – शेख हसीना को सत्ता से बेदखल कर बांग्लादेश की नई सरकार ने लिए 6 बड़े सुधार के फैसले – #INA

शेख हसीना को सत्ता से बेदखल करने के बाद बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार मोहम्मद यूनुस लगातार देश में बदलाव के लिए काम कर रहे हैं. सुधार को लेकर उन्होंने 6 विभागों में रिफॉर्म के लिए 6 कमीशन का गठन किया है. इन रिफॉर्म का मकसद सार्वजनिक स्वामित्व, जवाबदेही और कल्याण पर आधारित एक सिस्टम बनाना बताया गया है.
कमिशन का ऐलान करते हुए मोहम्मद यूनुस ने कहा, “बांग्लादेश में फासीवाद या सत्तावादी शासन के फिर से उभरने से रोकने के लिए कुछ राष्ट्रीय सुधार करना जरूरी हो गया है.” उन्होंने आगे कहा कि इन सभी सुधारों का मुख्य उद्देश्य निष्पक्ष चुनाव और अच्छी सरकार बनाना है.
किन विभागों के लिए बने कमीशन?
मुख्य सलाहकार मोहम्मद यूनुस ने राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में कहा कि अंतरिम सरकार ने न्यायपालिका, चुनाव प्रणाली, प्रशासन, पुलिस, भ्रष्टाचार निरोधक आयोग और संविधान में सुधार के लिए छह आयोग गठित करने का फैसला किया है.
यूनुस ने बताया कि जस्टिस शाह अबू नईम मोमिनुर रहमान न्यायिक सुधार आयोग का नेतृत्व करेंगे, बदीउल आलम मजूमदार चुनाव प्रणाली सुधार आयोग का नेतृत्व करेंगे, अब्दुल मुईद चौधरी लोक प्रशासन सुधार आयोग का नेतृत्व करेंगे, सफ़र राज हुसैन पुलिस प्रशासन सुधार आयोग का नेतृत्व करेंगे, और इफ़्तेख़ारुज़्ज़मां भ्रष्टाचार विरोधी सुधार आयोग का नेतृत्व करेंगे.
ये कमिशन अपना काम 1 अक्टूबर से शुरू करेंगे और अगले तीन महीनों में काम पूरा कर अपनी रिपोर्ट सौंपेंगे. यूनुस ने कहा कि हर बॉडी के अध्यक्ष उनके मेंबर्स की ओर से चुने जाएंगे.
आयोग की ओर से दी गई रिपोर्ट पर प्रमुख राजनीतिक दलों के साथ चर्चा की जाएगी, फिर आखिर में छात्र संगठनों, सिविल सोसाइटी, राजनीतिक दलों और सरकार के प्रतिनिधियों के साथ तीन से सात दिनों तक बैठक चलेगी. यूनुस ने कहा कि ये बैठक आयोग की रिपोर्ट में दिए गए बदलावों को लेकर की जाएगी कि उनको किस तरह धरातल पर उतारा जाए.
“एक परिवार और समूह के पास सरकार का रहना सही नहीं”
मोहम्मद यूनुस ने अपने संबोधन में कहा, “हमारा मानना है कि चुनाव की आड़ में लोगों पर मेजोरिटी का डोमिनेंस या कुशासन थोपना या सारी शक्ति एक शख्स, परिवार या समूह के हाथों में होना अस्वीकार्य है. आगे ऐसा न हो इसलिए सरकार चुनाव प्रणाली और सरकार के अन्य विभागों में बदलाव करने जा रही है.
उन्होंना कहा की चुनावों को निष्पक्ष और स्वतंत्र रूप से कराने के लिए पुलिस, लोक प्रशासन, न्यायपालिका और भ्रष्टाचार निरोधक आयोग में सुधार करना जरूरी है.
भारत और मीडिया सुधारों का भी किया जिक्र
राष्ट्र के नाम संबोधन में मोहम्मद ने कई और सुधारों का जिक्र किया. मीडिया और अभिव्यक्ति की आजादी पर बोलते हुए उन्होंने कहा, “प्रेस की आजादी और अभिव्यक्ति की आजादी पहले ही सुनिश्चित की जा चुकी है. हमने यह साफ कर दिया है कि सभी को हमारी खुलकर आलोचना करनी चाहिए, हम सभी विचारों का सम्मान करते हैं.”
उन्होंने कहा कि हम भारत और दूसरे पड़ोसी देशों से अच्छे रिश्ते चाहते हैं, लेकिन ये रिश्ते निष्पक्षता और समानता पर आधारित होने चाहिए. उन्होंने आगे कहा कि पड़ोसियों से रिश्ते सुधारने के मकसद से SAARC को दोबारा से शुरू करने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं.

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सौजन्य से टीवी9 हिंदी डॉट कॉम

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