खबर मध्यप्रदेश – वर्दी का रौब! पार्किंग स्टैंड वाले ने पैसे मांगे, 2 महिला एसआई ने पीटा, फिर ले गईं थाने – INA
मध्य प्रदेश के जबलपुर में पुलिस की दो लेडी सिंघम एसआई द्वारा रेलवे स्टेशन के एक कर्मचारी के साथ बेरहमी से मारपीट करने और दबंगई करने का एक वीडियो सामने आया है. जिसमें दो महिला एसआई एक युवक को लात-घुसों से मारपीट करते हुए दिखाई दे रही हैं. सीसीटीवी फुटेज सामने आने के बाद जीआरपी थाना प्रभारी के द्वारा पूरे मामले को उलट कर बताया जा रहा है. जीआरपी थाना प्रभारी का कहना है कि स्टैंड चालक ने महिला एसआई के साथ बदतमीजी की है जिस पर महिला एसआई उसे पकड़कर थाने ले गई.
रेलवे स्टेशन प्लेटफार्म नंबर एक के पार्किंग स्टैंड पर जीआरपी थाने की एसआई आकांक्षा सिंह और बरेला थाने की एसआई आरती मंडलोई ने वाहन स्टैंड कर्मचारी सोनू सिंह के साथ मारपीट की. इस घटना का कारण गाड़ी खड़ी करने के शुल्क को लेकर विवाद बताया जा रहा है. जिसमें आरती मंडलोई के द्वारा बस स्टैंड में टू व्हीलर खड़ी की गई थी. स्टैंड चालक के द्वारा 200 रुपये मांगे गए थे. जिस पर महिला एसआई का कहना था कि पुलिस के पैसे नहीं लगते. एसआई आरती मंडलोई ने जीआरपी थाना में पदस्थ महिला सब इंस्पेक्टर आकांक्षा सिंह को बुला लिया. वीडियो के अनुसार, एसआई आकांक्षा सिंह और आरती मंडलोई ने कर्मचारी के साथ पहले गाली-गलौज की, फिर उसे थप्पड़ मारे और उसके निजी अंगों पर लात मारी. इसके बाद आकांक्षा सिंह सोनू को घसीटते हुए थाने ले पहुंची और वहां भी मारपीट की.
पीड़ित ने छोड़ी नौकरी
यह पूरी घटना 21 अक्टूबर की देर शाम की है, लेकिन मारपीट का सीसीटीवी वीडियो सोमवार को सोशल मीडिया पर वायरल हुआ. जिसके बाद यह पूरा मामला सामने आया है. वीडियो वायरल होने के बाद न केवल लोग बल्कि उच्च अधिकारियों का ध्यान भी इस ओर गया. कहा जा रहा है कि इस घटना के बाद सोनू सिंह ने मानसिक तनाव और डर के कारण अपनी नौकरी छोड़ दी. पीड़ित के दोस्त नितिन कुमार मिश्रा ने बताया कि सोनू को इस तरह की स्थिति का सामना करना पड़ रहा है जो उसके लिए बेहद अपमानजनक और दर्दनाक था. उन्होंने पुलिसकर्मियों के इस व्यवहार पर सवाल उठाए और न्याय की मांग की.
जांच के बाद होगी कार्रवाई
घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए जीआरपी थाने के थाना प्रभारी बलराम यादव ने बताया कि पूरे मामले में वाहन स्टैंड पर काम करने वाले कर्मचारियों की गलती पाई गई है. महिला एसआई आरती मर्ग के काम से वापस लौटी थीं. इसके बाद यहां पर विवाद की स्थिति बन गई. एडिशनल एसपी प्रदीप शेंडे का कहना है कि इस मामले में उचित कार्रवाई की जाएगी. एसआई आकांक्षा सिंह के खिलाफ आरोपों की जांच की जाएगी. उन्होंने कहा कि कानून व्यवस्था बनाए रखने वाले अधिकारियों से इस तरह का आचरण बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. इस मामले ने जबलपुर के लोगों में पुलिस के प्रति नकारात्मक दृष्टिकोण पैदा किया है, और लोग इस घटना की निंदा कर रहे हैं.
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