झुला लगें मणि पर्वत पर झुलें अवध बिहारी ना के साथ तेरह दिवसीय झुला कार्यक्रम आयोजित : डॉ शंभू
समस्तीपुर जिले के विभूतिपुर प्रखंड क्षेत्र के साख मोहन बड़ी ठाकुर वाड़ी में सावन शुक्ल पक्ष तृतीया से प्रारंभ होकर पूर्णिमा तक चलने वाला तेरह दिवसीय झुला कार्यक्रम की शुरुआत शंखनाद के साथ की गई।इस अवसर पर अखिल भारतीय सवर्ण मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष सह सनातन धर्म संस्कृति मंडल के अध्यक्ष डॉ शंभू कुमार ने कहा कि झुला का प्रारंभ अयोध्या के मणि पर्वत से चलकर मथुरा-वृंदावन के साथ पुरे देश में सभी राम जानकी एवं कृष्ण मंदिरों में मनाने की परंपरा रही। कालांतर में विदेशी आक्रांताओं और अन्य संप्रदाय के विरोध का सामना करते हुए परंपरा सिमटती चली गई।आज के बदलते सामाजिक परिवेश में वैराग्य धारण करने वाले की कमी के कारण स्थान खाली पड़ते जा रहें हैं दिखावा करने वाले कालनेमी दुराचारी के कारण धर्म व ईमानदार संत महंत बदनाम हो रहें हैं और लूटेरे मालामाल।कई साधु से गुलजार रहने वाले स्थान सुने हो गए हैं, इसलिए झुला का आयोजन भी अब कुछ विशेष स्थान में ही मनाए जाते हैं। सभी मंदिरों के जमीन पर भू-माफिया की नजर है और सरकार धार्मिक न्यास परिषद के द्वारा टैक्स वसूल करती है पर मंदिरों के रख-रखाव पर कोई वजट नहीं बनाती है। जिले के दर्जनों मंदिर से भगवान के मुर्ती की चोरी महंत पुजारी की हत्या हुई झुठे मुकदमा में फंसाया गया पर परिणाम शुन्य हें घटनाओं का उद्भेदन नहीं हो पाया है विदेशी नागरिक जैसे सरकारी सुविधाओं से वंचित रखा जा रहा जो वैराग्य परंपरा के पतन का कारण बना है।हर गांव में मनाया जाने वाला झुला अब बंद होने के कगार पर है फिर भी ऐसे आयोजन का होना अपने आप में एक साहसिक ऐतिहासिक कदम है ।इस अवसर पर झुला लगें मणि पर्वत पर झुलें अवध बिहारी ना के साथ अनेकों झुला के गीत से भगवान को सुनाया गया जिसमें कई गाएक कलाकारों के साथ दर्जनों भक्त गण उपस्थित रहे इस अवसर पर गद्दी महंत राम भजन दास,राम जतन सिंह आत्मा राम राम शंकर विष्णु देव सिंह दिपांशु ,कांपो सिंह पवित्र सिंह हिरा कुमारी वगैरह दर्जनों लोग शामिल हुए।