Crime- Haryana: आरपीएफ ने पकड़ा नकली विजिलेंस इंस्पेक्टर, रौब में अधिकारियों के संग पीता था चाय -#INA

हरियाणा के अंबाला में रुपये की उगाही करने रेलवे स्टेशन पर पहुंचे एक व्यक्ति को आरपीएफ ने जब पूछताछ के लिए रोका तो वो नकली विजिलेंस इंस्पेक्टर निकला जो कर्मचारियों पर रौब झाड़कर पैसे लेने के चक्कर में था।

मामला अंबाला रेल मंडल के अंतर्गत आने वाले सहारनपुर रेलवे स्टेशन पर सोमवार रात लगभग एक बजे सामने आया। आरोपी की पहचान मुरादाबाद निवासी 27 वर्षीय लाखन मेहता उर्फ लखन मेहता के तौर पर हुई है। आरोपी को आरपीएफ ने जीआरपी के सुपुर्द कर दिया है और जीआरपी ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज करके आगामी कार्रवाई आरंभ कर दी है।

ऐसे आया पकड़ में

16 सितंबर की रात लगभग 12 बजे महिला कांस्टेबल पूनम कादियान ने फोन पर उपनिरीक्षक दीपक प्रताप शर्मा को जानकारी गई कि एक व्यक्ति रेलवे स्टेशन में घूम रहा है और अपने आपको रेलवे बोर्ड नई दिल्ली में तैनात विजिलेंस इंस्पेक्टर बता रहा है। सूचना पर जब एसआई दीपक प्रताप शर्मा और एएसआई पुष्पेंद्र कुमार पार्सल कार्यालय के पास पहुंचे तो वो पार्सल कार्यालय से बाहर जाता दिखाई दिया।

जब उसे रोकने के लिए आवाज लगाई तो वो भाग गया। पीछा करने के बाद आरोपी को पकड़ा गया। पूछताछ में उसने बताया कि पैसे की उगाही करने के लिए वो फर्जी विजिलेंस इंस्पेक्टर बनकर सहारनपुर रेलवे स्टेशन पर घूम रहा था।

महिला कर्मचारी पर बना रहा था दबाव

आरपीएफ की मुख्य सिपाही पूनम कादियान की शिकायत पर आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। महिला कर्मचारी ने बताया कि कुछ दिन पहले आरोपी लाखन उससे मिला था और पैसे की मांग की थी। उसने उसका मोबाइल नंबर भी लिया था और उस पर संदेश भी भेजा करता था और कहता था कि उसने कई रेलवे स्टेशनों पर रेड की है। 16 सितंबर को वो सहारनपुर आएगा और वो सीसीटीवी रूम में उसे मिले। लेकिन महिला कर्मचारी ने इसकी जानकारी अपने अधिकारियों को पहले ही दे दी थी।

प्राथमिक जांच में खुलासा

प्राथमिक पूछताछ में आरोपी लाखन उर्फ लखन ने खुद को एक रिपोर्ट बताया है। वहीं यह भी सामने आया है कि वो रेलवे स्टेशन पर काफी समय से सक्रिय था और उसकी रेलवे अधिकारियों सहित अन्य कर्मचारियों के साथ अच्छी जान-पहचान थी। उसने कई बार देखा कि विजिलेंस इंस्पेक्टरों से प्रत्येक कर्मचारी डरता है तो उसने भी फर्जी विजिलेंस इंस्पेक्टर बनकर पैसे की उगाही का काम शुरु कर दिया था।

Credit By Amar Ujala

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